प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने सीहोर में बीजेपी की महिला मोर्चा के तीन दिवसीय राष्ट्रीय प्रशिक्षण शिविर में कहा कि महिलाओं के नाम पर रजिस्ट्री कराने पर केवल एक प्रतिशत स्टाम्प ड्यूटी लगेगी। सीएम के घोषणा के बाद रियल स्टेट सेक्टर को भी बड़ा फायदा मिलने की उम्मीद जताई जा रही है।
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मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में बहनों के नाम संपत्ति की रजिस्ट्री कराने पर केवल एक प्रतिशत स्टाम्प ड्यूटी ही लगेगी। आंकडों पर नजर डालें तो पिछले कुछ वर्षों में ही तीन हजार करोड़ रुपये से अधिक की रजिस्ट्री महिलाों के नाम से हो गई। प्रदेश में महिला सशक्तिकरण के लिए सरकार काम कर रही है। प्रदेश में निकाय और पंचायत चुनावों में महिलाओं को 50 फीसदी रिजर्वेशन है। प्रदेश में विभिन्न चुनाव में 56 प्रतिशत महिलाएं चुनकर आई हैं। राज्य में अभी नगरीय क्षेत्र में रजिस्ट्री कराने पर 12.50 फीसदी स्टाम्प ड्यूटी, तो ग्रामीण क्षेत्र में 9.5 फीसदी स्टाम्प चुकाना होता है। वही महिलाओं के नाम पर रजिस्ट्री कराने पर स्टाम्प ड्यूटी में दो प्रतिशत की छूट का प्रावधान किया गया है।
मप्र में भवन, फ्लैट, प्लॉट की रजिस्ट्री में लगने वाला रजिस्ट्रेशन शुल्क अन्य राज्यों की तुलना में काफी ज्यादा है। केंद्र की गाइडलाइन के अनुसार राज्य इसे अपने स्तर पर तय कर सकते हैं। लेकिन इतना भी नहीं की आम जनता को परेशानी का सामना करना पड़े। मप्र में रजिस्ट्री पर सबसे ज्यादा रजिस्ट्रेशन शुल्क 3 फीसदी है, जबकि अन्य राज्यों में ये एक प्रतिशत ही लिया जा रहा है।