कार्यक्रम के दौरान मंत्री अकील ने पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान पर कटाक्ष करते हुए कहा कि हमें दाल बाटी खिला कर भीड़ इकट्ठा करना नहीं आता है, यदि वह कमलनाथ के बंगले पर भी नजमा लगाना चाहते हैं, तो कमलनाथ के बंगले का दरबार भी उनके लिए खुला हुआ है। यदि उन्हें वास्तव में जनता की समस्याएं हल करनी है तो अपनी विधायक निधि एवं केन्द्र सरकार से फंड लेकर कम से कम अपने विधानसभा क्षेत्र का तो विकास करना चाहिए। उनके क्षेत्र में अस्पताल में आवश्यक मशीनें नहीं है, खिलाडिय़ों के लिए खेल का मैदान नहीं है आवासहीनों के लिए आवास नहीं हैं, परंतु पूरे प्रदेश में मजमा लगाते घूम रहे हैं।
कमलनाथ सरकार की कथनी करनी में कोई अंतर नहीं
कमलनाथ सरकार की कथनी करनी में कोई अंतर नहीं है उनकी उद्योगनीति आने वाले समय में जनता को दिखाई देने लगेगी। उन्होंने कहा उनके क्षेत्र में बिजली सड़क व नाली की समस्याएं लेकर जनता उनके पास आ रही है, उनका जनता से वादा है शीघ्र उनकी समस्याओं का निराकरण करके उसकी जानकारी कार्यालय सूचना पटल पर अंकित करा दी जाएगी।
कार्यक्रम में पूर्व शिक्षा राज्य मंत्री राजकुमार पटेल, ब्लॉक कांग्रेस अध्यक्ष केशव चौहान, बुदनी मंडलम अध्यक्ष मनजीत सिंह राजपूत, पूर्व जनपद अध्यक्ष रवि शंकर पांडे, गिरीश कुमार यादव, मोहम्मद तारिक पटेल, छगनलाल दुबे, अजय यादव, आमिर पटेल सहित कई कांग्रेसी नेता उपस्थित थे। इसके अलावा कार्यक्रम में जिले के कलेक्टर एसपी एवं बुदनी के सभी विभागों के प्रशासनिक अधिकारी उपस्थित थे।
प्रभारी मंत्री को लोगों ने गिनाई समस्याएं
कार्यक्रम में नगर के वार्ड 12 गुरुआ बाबा कॉलोनी के रहवासियों ने एक आवेदन देकर मांग की कि 15-20 वर्षों से इस कॉलोनी में निवास के मकान बनाकर कर रह रहे हैं, परंतु अभी तक नगर परिषद से मिलने वाली मूलभूत सुविधाएं सड़क, नाली, पानी बिजली से मोहताज हैं। नगर में बने बस स्टैंड पर बसों का स्टॉपेज नहीं होने के कारण नागरिकों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
जिस पर मंत्री ने कहा जिस दिन बुधनी नगर की जनता चाहेगी उस दिन बसों का स्टाफ से शुरू करा दिया जाएगा। प्रभारी मंत्री को बुदनी नगर की लगभग 7 एकड़ जमीन का सीमांकन मशीन से पुलिस के उपस्थिति में कराने का भी आवेदन दिया गया जिसमें प्रेम नारायण यादव निवासी होशंगाबाद जसवंत नागर ने आवेदन किया है। उनकी जमीन कंपनी के कब्जे में है इसके कारण विभाग द्वारा सही ढंग से अभी तक नहीं कराया जा रहा है। इस पर प्रभारी मंत्री द्वारा राजस्व अधिकारी को निर्देशित किया तत्कालीन के सीमांकन की समस्या का निराकरण किया जाए।