सिवनीPublished: Aug 09, 2018 12:26:05 pm
santosh dubey
एनेस्थीसिया व सीजर डॉक्टर एक दूसरे पर लगाते रहे आरोप-प्रत्यारोप
24 घंटे भूखे रहने के बाद भी नहीं हुआ सीजर
सिवनी. जिला अस्पताल में मरीजों के उपचार में लापरवाही बरते जाने का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। सोमवार को प्रसव पीड़ा से पीडि़त दो महिलाओं के 24 घण्टे भूखे रहने के बाद भी जब सीजर ऑपरेशन नहीं किया गया तो परिजनों में अस्पताल की व्यवस्था को लेकर खासा आक्रोश देखा गया।
लखनादौन निवासी संध्या पटेल व ग्राम घोड़ा निवासी प्रियंका मर्सकोले ने बताया कि जिला अस्पताल में भर्ती होने के बाद चिकित्सकों ने सीजर से डिलेवरी होने की बात कहते हुए कुछ भी खाने से इंकार कर दिया। वहीं महिलाओं व उनके परिजनों ने आरोप लगाया है कि यहां बेहोशी की दवा देने वाली एनेस्थीसिया महिला डॉक्टर जब वह अस्पताल में थी तो सीजर वाली डॉक्टर नहीं थी और जब शाम को सीजर वाली डॉक्टर पहुंची तो एनेस्थीसिया वाली डॉक्टर के नहीं रहने के कारण सीजर ऑपरेशन नहीं हो पाया और ऑपरेशन के इंतजार में महिलाओं को रात व दिन में भूखे रहने मजबूर होना पड़ा। मरीज के परिजनों ने दोनों डॉक्टर एक दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगा रहे थे जिसके चलते भूखी गर्भवती महिलाओं को खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ा।
वहीं इससे पहले भी जिला अस्पताल में गर्भवती महिलाओं के सीजर ऑपरेशन के दौरान डॉक्टरों द्वारा पांच हजार रुपए राशि मांगे जाने की बात को लेकर मरीज और डॉक्टरों में वाद-विवाद हुआ और शिकायत भी की गई थी। ओटी में महिला मरीजों को कई घण्टों तक रखे जाने और समय पर उपचार नहीं किए जाने की शिकायतें भी आए दिन परिजनों द्वारा कही जा रही है। चार सौ बिस्तर वाले इंदिरा गांधी जिला चिकित्सालय में मरीजों का समुचित उपचार नहीं होने के कारण सभी विकासखण्ड से यहां उपचार कराने पहुंचने वाले मरीजों खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। इसके साथ ही महिला चिकित्सकों के कारण भी यहां मरीजों के उपचार में खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। वहीं सुरक्षा व सफाई व्यवस्था को लेकर भी जिला अस्पताल में अस्पताल प्रबंधन की लापरवाही अक्सर सामने आ रही हैं।
इनका कहना है
शाम को लगभग आठ बजे दोनों चिकित्सक अस्पताल में थीं। मरीज का ब्लड प्रेशर बढ़ जाने के कारण सीजर ऑपरेशन नहीं किया गया।
डॉ. आरके श्रीवास्तव, सिविल सर्जन
जिला चिकित्सालय सिवनी