सिवनीPublished: Jul 26, 2019 08:20:32 pm
santosh dubey
पीजी कॉलेज में व्यक्तित्व विकास प्रकोष्ठ का हुआ आयोजन
अच्छा इंसान बनना हमारा लक्ष्य : डॉ चिले
सिवनी. ज्ञान हमारा कौशल बढ़ाता है तो हमारा लक्ष्य ज्ञानवान बनना ही नहीं, बल्कि एक अच्छा इंसान बनना हमारा लक्ष्य होना चाहिए। ऐसे विचारों से प्रेरित किया पीजी कॉलेज के प्राचार्य डॉ. सतीश कुमार चिले ने। मौका था व्यक्तित्व विकास प्रकोष्ठ के तहत व्यक्तित्व विकास व्याख्यान माला का। डॉ. चिले ने छात्र-छात्राओं को अच्छा नागरिक बनकर जीवन सार्थक करने की बात पर बल दिया।
उच्च शिक्षा विभाग के निर्देश पर कॉलेज में गठित व्यक्तित्व विकास प्रकोष्ठ के अंतर्गत विद्यार्थियों को व्यक्तित्व निर्माण और विकास के टिप्स दिए जाते हैं। प्रकोष्ठ के संयोजक प्रोफेसर सुरेश बाटड ने मुख्य वक्ता के रूप में अपने विचारों से विद्यार्थियों को प्रेरित किया। भारत की विविधता विषय पर बोलते हुए बाटड ने कहा कि सांस्कृतिक विरासत हमारी पहचान है। संविधान हमारा जीवंत दस्तावेज है। साहित्य, संस्कृति, संगीत, लोक कलाएं और सामाजिक-सांस्कृतिक संबंध भारतीय परंपरा को समृद्ध करते हैं।
विशेषवक्ता के रूप में प्रोफेसर सत्येन्द्र कुमार शेन्डे ने बताया कि विनम्रता हमारे आचरण का आभूषण है। बताया कि हमारी भाषा का क्षरण हो रहा है। सौम्य व्यवहार हमारे ज्ञान से भरे व्यक्तित्व को फलदार पेड़ की तरह महान बनाता है।
प्रकोष्ठ की संयोजक डॉ. ज्योत्सना पालकर ने कार्यक्रम के उद्देश्य पर प्रकाश डाला। डॉ. डीपी नामदेव, डॉ. डीआर डहेरिया, डॉ रविशंकर नाग, डॉ मंजू सराफ, डॉ. सविता मसीह, डॉ. दिव्या, डॉ. एके चौरसिया, सीएल अहिरवार, डॉ संदीप दीक्षित, केके बरमैया भी कार्यक्रम में मौजूद रहे। कार्यक्रम में कॉलेज के सभी संकायों के विद्यार्थियों के साथ स्टाफ की भी उपस्थिति रही। कार्यक्रम का संचालन प्रोफेसर रचना सक्सेना करते हुए प्रोफेसर रचना सक्सेना ने सभी का आभार जताया।