बातों से नहीं काम से शहर हो सकेगा सुंदर, ये हैं हालात
सिवनी. बातों में ही शहर को सुंदर बनाने के प्रयास हो रहे हैं। जबकि शहर के प्रमुख बाजार बुधवारी सहित नेहरू रोड, मॉडल रोड, शुक्रवारी अतिक्रमण, गंदगी के शिकार हैं। सड़क के दोनों ओर के फुटपाथ पर स्थानीय दुकानदार सामान रखकर अतिक्रमण कर लेते हैं तो १०-१० फीट सड़क पर हाथ ठेला वालों तथा फुटपाथी दुकानदारों का कब्जा है। निकलने के लिए तो ५ फीट भी रास्ता नहीं बचता। जैसे ही कोई फोरव्हीलर वाहन निकलता है वैसे ही जाम के हालात बनना शुरु हो जाते हैं। बुधवारी बाजार, नेहरू रोड, शंकर मढिय़ा क्षेत्र को अतिक्रमण मुक्त कराने के लिए कई बार अभियान चलाया गया, अतिक्रमणकारियों को हिदायत भी दी गई लेकिन परिणाम सिफर ही रहा।
करीब चार वर्ष पूर्व मॉडल रोड निर्माण के समय कच्चे-पक्के अतिक्रमण चिन्हित कर प्रशासन ने हटवाने नोटिस भी जारी किए थे, लेकिन तत्कालीन कलेक्टर भरत यादव का तबादला हो जाने के बाद यह मामला ठण्डे बस्ते में चला गया। अतिक्रमण हटवाने कार्रवाई न होने से अव्यवस्था जारी है।
बुधवारी में नहीं पार्किंग स्पॉट –
बुधवारी बाजार के भीतरी मार्ग में रोजाना ही ये आलम होता है कि सड़क के बीचों बीचों बीच दुकानदार और ग्राहकों की मोटरसाइकिलें खड़ी होती हैं, जबकि सड़क के दोनों ओर दुकानदारों का अतिक्रमण बाहर तक होता है, ऐसे में आने-जाने के लिए रास्ता कम चौड़ा बचता है और जाम के हालात बनते हैं। इस सड़क से फोरव्हीलर निकल पाना तो संभव ही नहीं है। इधर लोहा ओली, चूड़ी बाजार, मिठाई गली, ज्वेलर्स शॉप के आसपास भी अव्यवस्था ही बनी रहती है।
नेहरू रोड़ का ये है हाल –
बुधवारी बाजार के बाहर नगर पालिका चौक से शुक्रवारी चौक तक नेहरू रोड के दोनों ओर दुकानों-मकानों का अतिक्रमण नाली के बाहर तक है, ऐसे में लोगों के दोपहिया-चारपहिया वाहन सड़क पर खड़े होते हैं, जिससे भीड़ भरे इस रास्ते पर जाम के हालात रोजाना कई बार बनते हैं। अतिक्रमण हटाने कार्रवाई वर्षों से नहीं हुई है।
शुक्रवारी चौक भी नहीं बाकी –
शहर के मध्य क्षेत्र माने जाने वाले शुक्रवारी चौक पर ही एसडीओपी कार्यालय है और यहां हर समय यातायात और पुलिस के जवान मौजूद रहते हैं, बावजूद इसके ये इलाका अतिक्रमण से मुक्त नहीं है। बीच चौराहे पर दुकानें चल रही हैं, तो वहीं बैंक में पार्किंग न होने से सड़क पार्किंग स्पॉट बन गया है, स्थानीय रहवासी कार और अन्य वाहन भी बीच चौराहे पर खड़ा रखते हैं।
यातायात विभाग नहीं गंभीर –
शहर की सड़कों पर जमे अतिक्रमण के कारण सड़क जाम और लोगों का परेशान होना आम बात हो गई है। इस ओर यातायात विभाग और कोतवाली पुलिस समझाइश की खानापूर्ति जरूर करती है, लेकिन व्यवस्था में सुधार के लिए जरूरी प्रयास नहीं किए जा रहे हैं। यातायात विभाग के नुमाइंदे कहते हैं फुटपाथी दुकानदारों को कई बार समझाइश दे चुके हैं, लेकिन वे अपने सड़क किनारे से हटने को राजी नहीं हैं।
इनका कहना है-
यातायात व्यवस्था को दुरुस्त रखने हरसंभव प्रयास किए जा रहे हैं, नागरिक भी इसमें सहयोगी बनें, तो बेहतर होगा।
राजन उइके, यातायात प्रभारी सिवनी
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