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बिजली कंपनी का कारनामा, मीटरों की जांच में लैप्स हो रहे उपभोक्ताओं के पैसे

locationशाहडोलPublished: Sep 26, 2019 07:37:51 pm

Submitted by:

amaresh singh

साल भर में सिर्फ 12 उपभोक्ताओं ने लैब में कराई मीटरों की जांच

Consumers' money getting lapses in meter testing

बिजली कंपनी का कारनामा, मीटरों की जांच में लैप्स हो रहे उपभोक्ताओं के पैसे

शहडोल। जिले भर में उपभोक्ता मीटरों के तेज चलने और बिजली बिल ज्यादा आने की शिकायत लेकर बिजली कंपनी के अधिकारियों के पास पहुंचते हैं। यहां आने के बाद उपभोक्ताओं के मीटरों की जांच लैब में कराने की बात कही जाती है। लैब में मीटरों की जांच कराने से पहले उपभोक्ताओं को 1600 रुपए कंपनी के पास जमा करना पड़ता है। उसके बाद जांच शुरू होती है।


दूसरे कारणों से भी ज्यादा आते हैं बिल
इस संबंध में बिजली अधिकारियों का कहना है कि मीटर तभी बदला जाता है जब लैब की जांच में वह खराब पाया गया। इन सबके बीच उपभोक्ता ज्यादा बिल आने को लेकर परेशान रहता है। इस संबंध में अधिकारियों का कहना है कि कई बार बिजली का केबिल अर्थिंग ले लेता है। इससे बिजली की खपत की तुलना में बिजली बिल ज्यादा आता है। इसलिए उपभोक्ताओं को मीटर लगवाने के बाद अर्थिंग की भी जांच करानी चाहिए ताकि बिल ज्यादा आने की शिकायत खत्म हो सके।


पैसे नहीं होते हैं वापस
लैब की जांच में अगर मीटर सही पाया गया तो उपभोक्ताओं के पैसे कंपनी वापस नहीं करती है। वह पैसा लैप्स हो जाता है। इसके चलते उपभोक्ता मीटरों की लैब में जांच तक नहीं करा पा रहे हैं। साल भर में करीब 12 उपभोक्ताओं ने अपने मीटरों को बिजली कंपनी के लैब में जांच कराया। इसमें 11 मीटर सही निकले जबकि एक मीटर खराब निकला। इससे 11 उपभोक्ताओं के 1600 रुपए कंपनी के पास जब्त हो गए। इस संबंध में बिजली कंपनी के कार्यपालन यंत्री मुकेश सिंह ने कहा कि 12 उपभोक्ताओं ने लैब में मीटरों की जांच कराई। इसमें 11 मीटर सही पाए गए। इसके चलते इन उपभोक्ताओं द्वारा जमा कराई गई राशि जब्त हो गई। कई बार बिजली तार में अर्थिंग के चलते बिजली बिल ज्यादा आता है। इसलिए मीटर लगवाने के बाद अर्थिंग की जांच करानी चाहिए।

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