डाक विभाग की दलील: भोपाल और जबलपुर के बीच अटकी आगे की प्रक्रिया
शाहडोल
Published: April 18, 2022 12:47:20 pm
चार साल तक चि_ी-पत्री के बीच उलझा रहा पासपोर्ट कार्यालय, अब बंद कर दी फाइल
शहडोल. संभागीय मुख्यालय में खुलने वाला पासपोर्ट कार्यालय चिट्टी-पत्री के बीच उलझ कर रह गया है। लगभग चार वर्ष से सिर्फ पत्राचार का ही दौर चल रहा है जमीनी स्तर पर यह कहीं भी नजर नहीं आ रहा है। जिम्मेदार एक-दूसरे के पाले में गेंद डालते रहे। पहले तो समुचित जगह के अभाव में मामला अधर में लटका रहा अब जब जगह भी उपलब्ध हो गई तो जबलपुर और भोपाल के बीच फाइल लटकी हुई है। वहीं जानकारों की माने तो विभाग द्वारा लगातार की गई लेट-लतीफी की बदौलत मंत्रालय ने संभागीय मुख्यालय में स्वीकृत पासपोर्ट कार्यालय संबंधी फाइल बंद कर दी है। जिसके साथ ही पासपोर्ट कार्यालय का सपना भी अधर में लटक गया है। जिसके चलते उन लोगों में निराशा देखने मिल रही है जिन्होने पासपोर्ट ऑफिस खुलवाने के लिए मशक्कत की थी। विभागीय उदासीनता के चलते उनकी मेहनत पर पानी फिरता नजर आ रहा है। वहीं लोगों को अभी भी पासपोर्ट बनवाने जबलपुर और भोपाल के ही चक्कर काटने पड़ेंगे।
वरिष्ठ कार्यालय में लटकी फाइल
बताया जा रहा है कि वरिष्ठ कार्यालय द्वारा चाही गई जानकारी के साथ ही प्रशासन द्वारा उपलब्ध कराई गई जगह की पूरी जानकारी डाक विभाग द्वारा पोस्ट मास्टर जनरल कार्यालय जबलपुर और चीफ पोस्ट मास्टर जनरल कार्यालय भोपाल को भेज दी गई है। पोस्ट ऑफिस पासपोर्ट कार्यालय की फाइल अब उक्त दोनो वरिष्ठ कार्यालयों के बीच लटकी हुई हैं। वहीं जानकारों का यह कहना है कि जगह उपलब्ध कराने में लगातार हुई लेट-लतीफी के चलते मंत्रालय द्वारा संभागीय मुख्यालय में पासपोर्ट कार्यालय की स्वीकृति संबंधी फाइल बंद कर दी गई है।
पहले ही डाक विभाग ने खड़े कर दिए थे हाथ
पासपोर्ट कार्यालय के लिए वर्ष 2018 से प्रक्रिया चल रही है जो कि अब तक पूरी नहीं हो पाई है। दिसम्बर 2018 में सचिव सीपीबी एवं ओआईए द्वारा शहडोल सांसद के नाम पत्राचार किया गया था। जिसमें डाक विभाग द्वारा लोकसभा क्षेत्र के मुख्य डाकघर या अन्य डाकघर में स्थान उपलब्ध न होने की बात कही थी। जिसे लेकर पत्राचार कर सचिव सीपीबी एवं ओआईए द्वारा सांसद से पोस्ट ऑफिस पासपोर्ट कार्यालय के लिए कम से कम 300 वर्ग फिट जगह उपलब्ध कराने कहा था।
फिर से करनी होगी पहल
जानकारों का कहना है कि लेट-लतीफी के चलते पासपोर्ट कार्यालय अधर में लटक गया है। जिसकी बंद पड़ी फाइल को पुन: प्रारंभ करने के लिए नए सिरे से प्रयास करने होगे। इसके लिए स्थानीय जनप्रतिनिधि पहल करें तो अभी भी स्थिति को संभाला जा सकता है।
लगातार हुए पत्राचार, अभी भी वही स्थिति
डाक विभाग द्वारा मंत्रालय को जगह उपलब्ध न होने की जानकारी भेजने के बाद पोस्ट ऑफिस कार्यालय की स्वीकृति को लेकर संसय बन गया था। जिसके बाद नगर के समाजसेवियों व संगठनो द्वारा इस दिशा में पहल की गई। जिस पर फिर से इसकी स्वीकृति मिली। लेकिन डाक विभाग और जिला प्रशासन समय पर इसके लिए जमीन उपलब्ध नहीं कराया गया। वर्ष 2018 से लगातार डाक विभाग द्वारा जिला प्रशासन को जगह उपलब्ध कराने पत्राचार किया गया। इस दौरान कलेक्ट्रेट परिसर स्थित पोस्ट ऑफिस कार्यालय के बगल में कमरा उपलब्ध कराने की मांग की गई। अक्टूबर 2020 में बसस्टैण्ड स्थित उप डाकघर के बगल में स्थित कक्ष इसके लिए उपलब्ध कराया गया था।
इनका कहना है
वरिष्ठ कार्यालय से जो जानकारी चाही गई थी वह हमने पूरी फाइल तैयार कर भेज दी है। कार्यालय के लिए जगह भी उपलब्ध हो गई है। आगे की प्रक्रिया जबलपुर व भोपाल से होनी है।
आरयू रहमान, डाक अधीक्षक पोस्ट ऑफिस शहडोल।
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