शाहडोलPublished: Nov 10, 2023 12:02:22 pm
shubham singh
भटकाती रही पुलिस, वन अमले से कहा- क्यों पकड़ा वाहन
शहडोल. जिले में लंबे समय से पैर पसार रहे पशु तस्करी में बड़ी सांठगांठ सामने आई है। आगे-आगे लग्जरी कार रैकी कर रही थी और पीछे-पीछे ट्रक में पशुओ को भरकर ले जाया जा रहा था। देर रात वन संपदा के परिवहन की सूचना पर वन अमले ने संदिग्ध वाहन को रोकने का प्रयास किया तो वाहन चालक ओवर टेक कर भाग खड़ा हुआ। वन अमले ने वाहन का पीछा किया और गोहपारू के पास ट्रेलर खड़ा कर वाहन को रोक लिया। वन परिक्षेत्र अधिकारी गोहपारू की सक्रियता से पशुओं से लदा ट्रक तो हत्थे चढ़ गया लेकिन चालक व आगे-आगे चल रही लग्जरी कार हाथ नहीं लगी। गोहपारू पुलिस और अधिकारियों की भूमिका पर सवाल खड़े कर दिए हैं। तस्करी में लिप्त वाहन को पकडऩे के बाद वन अमले ने गोहपारू पुलिस को सूचना दी। बावजूद पुलिस सक्रिय नहीं हुई। उल्टा कहा कि वाहन क्यों पकड़ा है,तुम्हारा कार्यक्षेत्र नहीं है। 4 घंटे से ज्यादा समय तक तक वन विभाग के अधिकारी कर्मचारी परेशान होते रहे। बाद में डीएफओ श्रद्धा पेन्द्रे ने जानकारी वरिष्ठ अधिकारियों को दी। कलेक्टर वंदना वैद्य के हस्तक्षेप के बाद पुलिस सक्रिय हुई और एफआइआर दर्ज कर विवेचना शुरू की। जैतपुर रूट से गोहपारू क्षेत्र पशु तस्करों का बड़ा कॉरिडोर है। यहां से हर दिन दर्जनों गाडिय़ां निकलती हैं लेकिन सांठगांठ होने से कार्रवाई नहीं हो रही है।
मवेशियों की तस्करी करते मालवाहक जब्त
देवलोंद थाना क्षेत्र से पुलिस ने 5 नग मवेशियों से भरे वाहन को जब्त किया है। पुलिस को जानकारी मिली कि कुछ लोग मवेशियों को मालवाहक में भरकर अन्य शहर ले जा रहे हैं। पुलिस घेराबंदी कर वाहन को जब्त किया। वाहन से 2 नग भैंस व 3 नग पड़ा को तस्करों से मुक्त कराया। पुलिस ने आरोपी विनोद पांडेय व एक अन्य व्यक्ति को हिरासत में लेकर मवेशियों के परिवहन के संबंधन में दस्तावेज मांगे तो आरोपियेां ने कोई कागजात नहीं प्रस्तुत कर पाए। दोनों ओरापियों के खिलाफ पुलिस ने पशुक्रूरता अधिनियम के तहत मामला दर्ज कर आगे की जांच शुरू कर दी है।
इनका कहना
नाइट गश्त के दौरान संदिग्ध वाहन को रोकने प्रयास किया गया तो वाहन भाग खड़ा हुआ। गोहपारू रेंजर ने संबंधित वाहन को गोहपारू में रोक लिया गया। वाहन से पशु तस्करी की जा रही थी। इसकी सूचना पुलिस को दी गई तो वह काफी देर तक मामले में कार्रवाई करने में आना-कानी करते रहे। बाद में वरिष्ठ अधिकारियों के हस्तक्षेप के बाद मामला दर्ज कर लिया गया है।
श्रद्धा पेन्द्रे, डीएफओ दक्षिण वनमंडल शहडोल।