वंशवाद के खिलाफ हैं जितिन की मां कांता प्रसाद, जाने रोचक बातें
jitendra prasad
शाहजहाँपुर। एक समय था जब कांग्रेस में अध्यक्ष बनने के लिए सोनिया गांधी के खिलाफ आवाज उठी थी। अब भले ही राहुल गांधी की कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष के लिए निर्विरोध ताजपोषी होने जा रही हो। लेकिन एक वक्त था जब शाहजहांपुर के प्रसाद भवन से कांग्रेस राष्ट्रीय अध्यक्ष पद पर वंशवाद के खिलाफ गूँज शाहजहांपुर से दिल्ली तक सुनाई दी। और एक दौर आज है जो उसी प्रसाद भवन के वारिस ने राहुल गांधी के समक्ष आत्मसमर्पण कर दिया। जी हां हम बात कर रहे है कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कुंवर जितेन्द्र प्रसाद की। जिन्होंने सोनया गांधी के सन 1998 में कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष बनने पर तो कोइ विरोध नहीं किया। लेकिन जैसे ही 2000 में कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष के लिए चुनाव की घोषणा हुई। तो जितेंद्र प्रसाद ने वंशवाद को खत्म करने के लिए ताल ठोक दी।
जितिन प्रसाद पिता से विरासत में मिली राजनीति से लगातार आगे बढ़ रहे हो लेकिन प्रसाद भवन से कांग्रेस अध्यक्ष के लिए वंशवाद के खिलाफ आवाज की गूँज आज भी सुनाई देती है। सूत्रों की माने तो स्व कुंवर जितेन्द्र प्रसाद की पत्नी और कुँवर जितिन प्रसाद की माँ कांता प्रसाद आज भी इस वंशवाद के खिलाफ है। आपको बता दे कि कुँवर जितिन प्रसाद के पिता और वरिष्ठ कांग्रेस नेता कुँवर जितेन्द्र प्रसाद ने सांसद रहते हे सोनिया गाँधी के ही लगातार राष्ट्रीय अध्यक्ष बनने का विरोध किया। क्योकि जितेंद्र प्रसाद सोनिया गांधी से कांग्रेस कार्यकर्ता बतौर बहुत वरिष्ठ थे। नवंबर 2000 में कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के खिलाफ चुनाव लड़े। लेकिन हार गए थे।
Shahjahanpur IMAGE CREDIT: patrika वही ख़ास बात ये भी है कि जहाँ जितिन प्रसाद के पिता जितेंद्र प्रसाद राहुल की माँ से वरिष्ठ थे। तो वही जितिन प्रसाद और राहुल गांधी राजनीति को विरासत में पाकर एक साथ पाकर एक साथ 2004 में संसद पहुंचे थे। कांग्रेस के जिलाध्यक्ष कौशल मिश्रा के अनुसार कुंवर जितिन प्रसाद शाहजहांपुर से एआईसीसी के सदस्य है।