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अभी भी खेत की जरूरत पूरा करने किसानों को लगाना पड़ रही लाइन

locationशाजापुरPublished: Jan 02, 2020 12:56:31 pm

Submitted by:

Piyush bhawsar

तीसरे दिन भी यूरिया लेने पहुंचे किसान, मार्केटिंग सोसायटी में सुबह से लगी किसानों की भीड़

Farmers still have to install lines to fulfill the need of the farm

अभी भी खेत की जरूरत पूरा करने किसानों को लगाना पड़ रही लाइन

शाजापुर.

रबी फसल के लिए उपयोग यूरिया की खरीदी करने के लिए लगातार तीसरे दिन बुधवार को भी मार्केटिंग सोसायटी में किसानों की कतार सुबह से ही लग गई। यहां पर पिछले दो दिनों की तरह किसानों को दो-दो बोरी यूरिया उनकी पावती के हिसाब से दिया गया। वैसे तो सुबह से लेकर शाम तक यहां पर किसानों को यूरिया का नकद में विक्रय किया गया, लेकिन इसके बाद भी अनेक किसान यूरिया के लिए अभी-भी इंतजार कर रहे हैं।

इस बार बारिश अच्छी होने से रबी फसल का रकबा बढ़ गया है। गत वर्ष जहां किसानों ने नहर के कैचमेंट एरिया में बोवनी नहीं की थी, क्योंकि बारिश कम होने से नहर से एक ही बार किसानों को पानी दिया जा सकता था, लेकिन इस बार किसानों ने नहर के कैचमेंट एरिया में भी बोवनी की है। चीलर बांध के पूरा भरा हुआ होने से किसानों को उनकी फसल के लिए नहरों के माध्यम से पर्याप्त पानी उपलब्ध कराया जा रहा है। ऐसे में फसल का रकबा बढऩे के साथ ही यूरिया की मांग भी गत वर्ष की अपेक्षा ज्यादा बढ़ गई है। इसी क्रम में किसानों को सहकारी संस्थाओं से यूरिया का वितरण किया गया। ऐसे किसान जिनका किसी भी सहकारी संस्था में खाता नहीं है वे नकद में यूरिया क्रय करने के लिए मार्केटिंग सोसायटी पहुंच रहे हैं। क्योंकि मार्केटिंग सोसायटी से उन्हें शासन द्वारा तय किए गए दाम पर ही यूरिया उपलब्ध हो रही है। इसी कारण से पिछले 3 दिनों से यहां पर हर दिन सैकड़ों किसान यूरिया खरीदने के लिए पहुंच रहे हैं। अधिकारियों का कहना है कि आने वाले दिनों में यूरिया की और रैक आएगी जिससे सभी किसानों को यूरिया मिल पाएगा।

जिनके खाते खराब वे भी पहुंच रहे नकद में यूरिया खरीदने
नकद में यूरिया खरीदने के लिए ऐसे किसान तो पहुंच रहे है जिनका किसी सहकारी संस्था में खाता नहीं है, वहीं ऐसे भी किसानों की यहां पर खासी भीड़ लग रही है जिनका खाता संस्था में खराब (डिफाल्टर) हो गया है। क्योंकि जब किसान सहकारी संस्था में यूरिया लेने के लिए पहुंचता है तो उसे संस्था द्वारा खाते की बकाया राशि जमा करने के लिए कहा जाता है। ऐसे में बकाया जमा करने की बजाय किसान नकद में यूरिया क्रय करने के लिए मार्केटिंग सोसायटी पहुंच रहा है। इससे यहां पर किसानों की ज्यादा भीड़ लग रही है। बुधवार को भी यहां कतार में खड़े किसानों की पावती पर मार्केटिंग सोसायटी के अधिकारी द्वारा मौके पर ही पहुंचकर हस्ताक्षर किए गए। क्योंकि यहां पर सभी किसानों को उनकी पावती के आधार पर ही दो-दो बोरी यूरिया दिया जा रहा है।

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