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श्योपुर में 36 हजार बच्चों ने बीच में ही छोड़ दी पढ़ाई

locationश्योपुरPublished: Jun 22, 2019 08:30:06 pm

Submitted by:

jay singh gurjar

श्योपुर में 36 हजार बच्चों ने बीच में ही छोड़ दी पढ़ाईराज्य शिक्षा केंद्र ने श्योपुर जिले को दी 36 हजार आउट ऑफ स्कूल बच्चों की सूची, अब विभागीय अमला करेगा बच्चों को ढूंढने की कवायद

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श्योपुर में 36 हजार बच्चों ने बीच में ही छोड़ दी पढ़ाई

श्योपुर,
भले ही सरकारी स्कूलों में शिक्षा का स्तर सुधारे और पढ़ाई को रुचिकर बनाने के तमाम दावे किए जाएं, लेकिन ये नौनिहालों का रास नहीं आ रही है। शायद यही वजह है कि श्योपुर जिले में लगभग 36 हजार ऐसे बच्चे हैं, जिन्हें स्कूलों में होना चाहिए, लेकिन वे बीच में ही पढ़ाई छोड़ गए। ये हम नहीं कर रहे बल्कि विभागीय आंकड़े खुद बयां कर रहे हैं, जिसमें जिले में 36 हजार 621 बच्चे आउट ऑफ स्कूल हैं।
बताया गया है कि राज्य शिक्षा केंद्र ने शाला से बाहर बच्चों को पुन: स्कूलों से जोडऩे के लिए न केवल आदेश जारी किए हैं, बल्कि 36 हजार बच्चों की बच्चावार सूची भी जारी की है, ऐसे में विभाग अब पेशापेश में हैं कि इन आउट ऑफ स्कूल बच्चों को कहां ढूंढे। हालांकि विभागीय अफसर अभियान चलाकर सर्वे कराने की बात करते हैं, लेकिन 36 हजार बच्चों को पुन: सरकारी स्कूलों में लाना टेढ़ी खीर नजर आ रही है।
चूंकि नया शिक्षण सत्र 2019-20 प्रारंभ हो चुका है, लिहाजा सरकारी विद्यालयों में प्रवेश प्रक्रिया भी शुरू की जानी है। इसी के लिए राज्य शिक्षा केंद्र ने पिछले वर्षों में सरकारी स्कूलों में पिछले सालों में प्रवेशित बच्चों की समीक्षा की और प्रवेश को लेकर दिशा-निर्देश जारी किए हैं। इसी के तहत समीक्षा में पाया कि पिछले वर्षों में प्रवेश की संख्या के आधार पर श्योपुर जिले में कक्षा 2 से लेकर 11वीं तक 36 हजार 621 बच्चे (इनमें 19587 बालक और 17034 बालिकाएं) शाला से बाहर हो गए, यानि अगली कक्षा में नामांकित नहीं हुए और बीच में ही पढ़ाई छोड़ गए या पलायन कर गए। इनमें सबसे ज्यादा संख्या विजयपुर विकासखंड में है, जहां 16 हजार 561 बच्चे आउट ऑफ स्कूल हैं। जबकि श्योपुर विकासखंड में 9 हजार 261 और कराहल विकासखंड में 10 हजार 799 बच्चे आउट ऑफ स्कूल हैं। यही वजह है कि आउट ऑफ स्कूल हुए बच्चों को लेकर विभागीय अफसर परेशान हैं कि इन बच्चों को कैसे ट्रेक किया जाए।
वीरपुर जनशिक्षा केंद्र में सबसे ज्यादा बच्चे
जिले के तीनों विकासखंडों में कुल 29 जनशिक्षा केंद्र हैं, जिनके अंतर्गत संबंधित क्षेत्र के प्रायमरी से लेकर हायरसैकंडरी तक के स्कूल आते हैं। ऐसे में जेएसकेवार आउट ऑफ स्कूल बच्चे देखें तो जेएसके गल्र्स हायरसैकंडरी श्योपुर में 2043, हजारेश्वर हायरसैकंडरी श्योपुर में 1484, प्रेमसर में 1035, मानपुर में 956, पांडोला में 906, बड़ौदा में 696, ढोढर में 670, दांतरदा में 621, मकड़ावदा में 490, रायपुरा में 360, वीर में 3185, सहसराम में 2052, उत्कृष्ट विजयपुर में 1930, श्यामपुर में 1809, ओछापुरा में 1615, टर्राकला में 1511, गल्र्स हायरसैकंडरी विजयपुर में 1456, अगरा में 1312, गढ़ी में 1160, गोहटा में 531, पहेला में 1723, कराहल में 1721, गोरस में 1329, जाखदा में 1224, गिरधरपुर में 1224, बरगवां में 1024, पटोंदा में 889, आवदा में 889 और सेसईपुरा में 776 बच्चे हैं।
कक्षा एक में 28 हजार बच्चों का लक्ष्य
राज्य शिक्षा केंद्र ने आउट ऑफ स्कूल बच्चों को पुन: स्कूलों में लाने के आदेश के साथ ही सरकारी स्कूलों में कक्षा 1 में प्रवेश के लिए भी लक्ष्य दिया है। जिसके तहत नए सत्र वर्ष 2019-20 में प्रवेश के लिए श्योपुर जिले को 28 हजार 74 बच्चों का लक्ष्य दिया गया है।

बच्चों को लाने चलाएंगे अभियान
लगभग 36 हजार बच्चे आउट ऑफ स्कूल बताए गए हैं, जिनके लिए हम शिक्षकों के माध्यम से सर्वे कराएंगे और बच्चों को पुन: स्कूलों से जोडऩे का प्रयास करेंगे। साथ ही प्रवेश के लक्ष्य की पूर्ति के लिए आंगनबाडिय़ों सहित गांवों में संपर्क कराएंगे। इसके लिए हम 28 जून को स्कूल चलें हम अभियान के जिलास्तरीय कार्यक्रम गल्र्स स्कूल श्योपुर में कर रहे हैं।
वकील सिंह रावत
जिला शिक्षा अधिकारी, श्योपुर
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