जनपद पंचायत श्योपुर के अधीन आने वाली ग्राम पंचायत अलापुरा, शंकरपुर, सोंईकला, मठेपुरा और कूंडहवेली के सरपंच-सचिवों ने जिला पंचायत सीइओ को आवेदन देकर बताया कि जनपद श्योपुर कार्यालय में पदस्थ कंप्यूटर ऑपरेटर सत्यवीर अर्गल ने हमारी डीएससी(डिजिटल सिग्नेचर सर्टिफिकेट) का दुरुपयोग कर पंचायतों के खाते से 14वें वित्त की राशि में से हजारों रुपए दूसरों के खाते में डाल दिए, जिनकों हम जानते भी नहीं। ऑपरेटर अर्गल ने ग्राम पंचायत अलापुरा के खाते से 25 हजार, शंकरपुर के खाते से 25 हजार और सोंईकला के खाते से 15750 रुपए की राशि रघुवीर सुमन निवासी पांडोला नामक व्यक्ति के नाम वेंडर बनाकर उसके खाते में डाल दिए। जबकि ग्राम पंचायत कंूडहेवली से 23850 रपए और ग्राम पंचायत मठेपुरा से 15000 रुपए की राशि का भुगतान करने का प्रयास किया, लेकिन सचिवों की सतर्कता से पकड़ लिया, जिसके चलते ऑपरेटर अर्गल ने चेकर डीएससी से ये भुगतान रिजेक्ट कर दिया। पंचायतों के सरपंच-सचिव ने कहा कि हमारी डीएससी कंप्यूटर ऑपरेटर ने अर्गल ने परीक्षण के नाम पर अपने पास रख ली थी, क्योंकि डीएससी के पासवर्ड जनपद द्वारा ही जारी किए गए थे और कहा गया कि बिना बताए पासवर्ड न बदलें जाएं। इसलिए हमने विश्वास में ये दे दी। लेकिन उसने इसका दुरुपयोग करते हुए राशि निकालकर फर्जीवाड़ा किया है। सरपंच-सचिवों ने कहा कि ये तो हमारा 5 पंचायतों का मामला है, लेकिन जांच हो तो अन्य पंचायतों के मामले भी सामने आ सकते हैं।
ंहंगामा बढ़ा तो बैठक के नाम पर उठकर चल दिए जनपद सीइओ
मामले को लेकर कांग्रेस के प्रदेश सचिव रामलखन हिरनीखेड़ा, अलापुरा ग्राम पंचायत की सरपंच भैरी बाई, सचिव जगदीश सुमन व अन्य पंचायतों के लोग जनपद कार्यालय पहुंचे और सीइओ एपी प्रजापति से कार्यवाही की मांग की। लोगों ने कहा कि जब मामला सामने है और जिसके खाते में राशि पहुंची है, वो भी लिखित में दे गया है तो फिर ऑपरेटर पर कार्यवाही क्यों नहीं हो रही है। इस पर हंगामा बढ़ता देख जनपद सीइओ प्रजापति बैठक के नाम पर उठकर चल दिए। साथ ही कहा कि ऑपरेटर हमारा कर्मचारी नहीं है और प्राइवेट काम करता है। इसलिए हम क्यों एफआईआर कराएं। डिजिटल सिग्नेचर इन पंचायतों ने दिए हैं तो ये एफआईआर कराएं। जबकि अलापुरा के सचिव जगदीश सुमन ने कहा कि ये ऑपरेटर यहां जनपद में 10 साल से काम करता है और विश्वास करते हुए हमने उसे डीएससी दी। इसके बाद हिरनीखेड़ा व सरपंच-सचिव कलेक्टर और जिपं सीइओ से भी मिले।
मामले को लेकर कांग्रेस के प्रदेश सचिव रामलखन हिरनीखेड़ा, अलापुरा ग्राम पंचायत की सरपंच भैरी बाई, सचिव जगदीश सुमन व अन्य पंचायतों के लोग जनपद कार्यालय पहुंचे और सीइओ एपी प्रजापति से कार्यवाही की मांग की। लोगों ने कहा कि जब मामला सामने है और जिसके खाते में राशि पहुंची है, वो भी लिखित में दे गया है तो फिर ऑपरेटर पर कार्यवाही क्यों नहीं हो रही है। इस पर हंगामा बढ़ता देख जनपद सीइओ प्रजापति बैठक के नाम पर उठकर चल दिए। साथ ही कहा कि ऑपरेटर हमारा कर्मचारी नहीं है और प्राइवेट काम करता है। इसलिए हम क्यों एफआईआर कराएं। डिजिटल सिग्नेचर इन पंचायतों ने दिए हैं तो ये एफआईआर कराएं। जबकि अलापुरा के सचिव जगदीश सुमन ने कहा कि ये ऑपरेटर यहां जनपद में 10 साल से काम करता है और विश्वास करते हुए हमने उसे डीएससी दी। इसके बाद हिरनीखेड़ा व सरपंच-सचिव कलेक्टर और जिपं सीइओ से भी मिले।
जिसके खाते में पहुंचे वो रघुवीर भी दे गया आवेदन
कंप्यूटर ऑपरेटर सत्यवीर अर्गल द्वारा पंचायतों के खातों से राशि निकालकर जिस रघुवीर सुमन के खाते में राशि ट्रांसफर की गई, वो भी जनपद सीइओ श्योपुर को आवेदन देकर स्वीकार कर गया कि मेरे खाते में राशि डाली गई। रघुवीर ने अपने आवेदन में लिखा कि मेरे बैंक खाते में 50 हजार रुपए की राशि दो बार में अचानक जमा हो गई। इसके बाद मेरे पास जनपद श्योपुर से सत्यवीर अर्गल का फोन आया और कहा कि तुम्हारे खाते में गलती से राशि पहुंच गई है, उसे निकालकर मुझे दे दो, नहीं तो तुम्हारे ऊपर कार्यवाही हो जाएगी। इस डर से मैंने राशि निकालकर अर्गल को दे दी।
कंप्यूटर ऑपरेटर सत्यवीर अर्गल द्वारा पंचायतों के खातों से राशि निकालकर जिस रघुवीर सुमन के खाते में राशि ट्रांसफर की गई, वो भी जनपद सीइओ श्योपुर को आवेदन देकर स्वीकार कर गया कि मेरे खाते में राशि डाली गई। रघुवीर ने अपने आवेदन में लिखा कि मेरे बैंक खाते में 50 हजार रुपए की राशि दो बार में अचानक जमा हो गई। इसके बाद मेरे पास जनपद श्योपुर से सत्यवीर अर्गल का फोन आया और कहा कि तुम्हारे खाते में गलती से राशि पहुंच गई है, उसे निकालकर मुझे दे दो, नहीं तो तुम्हारे ऊपर कार्यवाही हो जाएगी। इस डर से मैंने राशि निकालकर अर्गल को दे दी।
जांच कराकर कार्यवाही करेंगे
मामला मेरे संज्ञान भी आया है, जिसमें जांच कराई जा रही है, और जो भी जांच में आएगा, उसके अनुसार कार्यवाही की जाएगी।
हर्ष सिंह
सीइओ, जिला पंचायत श्योपुर
जनपद के अफसरों की मिलीभगत है
अभी तो ये 5 पंचायतों का मामला है, लेकिन हो सकता है, इस तरह का फर्जीवाड़ा इस ऑपरेटर ने अन्य पंचायतों में भी किया होगा। इसमें जनपद श्योपुर के अन्य अफसरों की मिलीभगत भी हो सकती है।
रामलखन हिरनीखेड़ा
प्रदेश सचिव, कांग्रेस श्योपुर
मामला मेरे संज्ञान भी आया है, जिसमें जांच कराई जा रही है, और जो भी जांच में आएगा, उसके अनुसार कार्यवाही की जाएगी।
हर्ष सिंह
सीइओ, जिला पंचायत श्योपुर
जनपद के अफसरों की मिलीभगत है
अभी तो ये 5 पंचायतों का मामला है, लेकिन हो सकता है, इस तरह का फर्जीवाड़ा इस ऑपरेटर ने अन्य पंचायतों में भी किया होगा। इसमें जनपद श्योपुर के अन्य अफसरों की मिलीभगत भी हो सकती है।
रामलखन हिरनीखेड़ा
प्रदेश सचिव, कांग्रेस श्योपुर