बताया गया है कि इस सेंटर का प्रस्ताव कुक्कुट विकास निगम में पड़ा हुआ है, लेकिन अफसर इस दिशा में कोई पहल करते नजर नहीं आए हैं। उल्लेखनीय है कि पशु संपदा से परिपूर्ण श्योपुर जिले के गोरस-कराहल क्षेत्र के गांवों में गिर नस्ल की गायें भी बड़ी संख्या में पाई जाती हैं। यही वजह है कि गिर नस्ल की गायों को बढ़ावा देने के लिए पशुपालन विभाग द्वारा कराहल में गिर ब्रीडिंग सेंटर प्रस्तावित किया हुआ है। पांच साल पूर्व शुरू हुई सेंटर की प्रक्रिया के लिए जिला योजना समिति की बैठक से अनुमोदित किया जाकर शासन और मध्यप्रदेश राज्य पशुधन एवं कुक्कुट विकास निगम को प्रस्ताव भी भेजा गया, लेकिन अभी तक मंजूरी नहीं मिल पाई है।
बताया गया है कि 15 मई 2013 को ग्वालियर में हुई कृषि उत्पादन आयुक्त की चंबल-ग्वालियर संभागस्तरीय बैठक में गिर ब्रीडिंग सेंटर शुरू करने का प्रस्ताव बनाने के निर्देश श्योपुर को दिए गए थे। जिसके बाद मई 2014 में तत्कालीन कलक्टर जीबी पाटिल द्वारा प्रस्ताव बनाकर पशुधन एवं कुक्कुट विकास निगम भोपाल को भेजा गया, लेकिन मंजूरी के इंतजार में प्रस्ताव अटका हुआ है। हालांकि 25 दिसंबर 2017 को ढोढर आए पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भी इसका जिक्र किया, बावजूद इसके बात आगे नहीं बढ़ पाई।
जिले में एक लाख के आसपास गिर गाय
जिले में प्रस्तावित गिर ब्रीडिंग सेंटर के प्रोजेक्ट के लिए कराहल के निकट पारोंद गांव में 40.675 हेक्टेयर जमीन भी चार साल पूर्व ही आवंटित की जा चुकी है। प्रोजेक्ट में सेंटर बनाने में 7 करोड़ 25 लाख 46 हजार रुपए की लागत प्रस्तावित है। बताया गया है कि जिले में लगभग छह लाख की संख्या में पशु धन हैं, जिसमें से लगभग एक लाख की संख्या में गिर गाय हैं।
…इधर गोशाला खोलने की तैयारियां शुरू
कांग्रेस सरकार द्वारा अपने वचनपत्र के मुताबिक प्रत्येक ग्राम पंचायत में गोशालाएं खोलने की कवायद शुरू कर दी गई है। इसी के तहत श्योपुर जिले में भी गोशालाएं प्रस्तावित की गई हैं। बताया गया है कि पिछले दिनों में पशुपालन मंत्री द्वारा ग्वालियर में दिए निर्देशों के बाद प्रशासन के अफसर तैयारियों में जुट गए हैं। बताया जा रहा है कि पहले चरण में 10 से 15 पंचायतों के बीच एक गोशाला होगी, उसके बाद प्रत्येक पंचायत में गोशालाएं बनाई जाएंगी।