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भगवान शिव को बाहरी इंद्रियों से नहीं समझा जा सकता : अभेदानंद

locationश्योपुरPublished: Dec 09, 2019 05:26:27 pm

शिव कथा में पार्वती की तपस्या पर डाला प्रकाश

भगवान शिव को बाहरी इंद्रियों से नहीं समझा जा सकता : अभेदानंद

शिव कथा सुनती महिलाएं।

बड़ौदा. पुलिस थाना मैदान के पीछे रविवार से शिव कथा प्रारंभ हुई। कथावाचक स्वामी अभेदानंद ने पार्वती की तपस्या पर प्रकाश डालते हुए कहा कि मां शक्ति भगवान शिव को प्राप्त करने के लिए कठोर तप करती हैं, लेकिन हमारे ग्रंथ बताते हैं कि शिव तत्व सनातन है जो अविनाशी है उसे बाहरी तत्व से भक्ति पूजा-पाठ से नहीं पाया जा सकता उसे तो एक संत की शरण में जाकर प्राप्त कर सकते हैं। भगवान शिव को हम बाहरी इंद्रियों द्वारा नहीं समझ सकते। भगवान शिव को जानने के लिए हमें अंतर घट में शिव तत्व को सद्गुरु के माध्यम से जानना होगा।

उन्होंने कहा कि पार्वती कि कठोर तपस्या को देख ऋषि-मुनि भी दंग रह गए। अंत में भगवान भोले का आसन हिला। उन्होंने पार्वती की परीक्षा के लिए पहले सप्तर्षियों को भेजा और पीछे स्वयं वटुवेश धारण कर पार्वती की परीक्षा के निमित्त प्रस्थान किया। जब शिव ने सब प्रकार से जांच-परखकर देख लिया कि पार्वती कि उनमें अविचल निष्ठा हैं, तब तो वे अपने को अधिक देर तक न छिपा सके। वे तुरंत अपने असली रूप में पार्वती के सामने प्रकट हो गए और उन्हें पाणिग्रहण का वरदान देकर अंतर्धान हो गए।
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