पांच दिसंबर को खण्ड स्तरीय उत्कृष्ट बालक छात्रवास से रामदीन आदिवासी को अधीक्षक पद से हटा कर गैर आदिवासी अधीक्षक राकेश सिंह सिकरवार को बना दिया गया। इस मामले को लेकर छात्रों ने हंगामा करते हुए प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी कर अधीक्षक को हटाने की मांग की।
आदेश को स्थगित न करने पर आंदोलन की घमकी दी है। छात्रों ने सीएम कमलनाथ को पत्र लिखकर कहा है कि हमें गैर आदिवासी अधीक्षक नहीं चाहिए। पत्र में कहा गया है कि शासन के स्पष्ट निर्देश है कि अनुसूचित जनजाति छात्रावास आश्रमों में उसी वर्ग के अधीक्षकों से कार्य कराने के लिए आदेशित किया गया था जबकि नियमों को ताक पर रखकर प्रभारी मंत्री के पत्र क्रमांक 2357 के तहत रामदीन आदिवासी को तत्कालीन कलेक्टर बसंत कुर्रे ने 5 दिसंबर को हटाने के आदेश जारी कर दिए।
बच्चे हंगामा कर नारेबाजी कर रहे हैं, जब यह बात मुझे पता चली तो, मैंने छात्रावास जाकर उन्हें समझाया। छात्रों ने सीएम को पत्र भेजा है। मुझे पता नहीं है क्यों हटाया गया है, मेरी तो आज शिकायत भी नहीं पहुंची है। इसके बावजूद मुझे छात्रावास अधीक्षक पद से हटा दिया गया ।
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