वृद्ध आदिवासी महिला को ७ साल बाद मिला न्याय, मिली ५ बीघा जमीन वापस
वृद्ध आदिवासी महिला को ७ साल बाद मिला न्याय, मिली ५ बीघा जमीन वापस
एसडीएम ने फर्जी तरीके से कराई गई रजिस्ट्री को किया शून्य
तहसीलदार, पटवारी, उप पंजीयक सहित दोषी युवक पर एफआईआर के आदेश
शिवपुरी
Published: July 31, 2022 02:29:00 pm
वृद्ध आदिवासी महिला को ७ साल बाद मिला न्याय, मिली ५ बीघा जमीन वापस
एसडीएम ने फर्जी तरीके से कराई गई रजिस्ट्री को किया शून्य
तहसीलदार, पटवारी, उप पंजीयक सहित दोषी युवक पर एफआईआर के आदेश
शिवपुरी। शिवपुरी जिले के बैराड़ अनुविभाग के ग्राम नैनागढ़ निवासी एक वृद्ध आदिवासी महिला की जमीन जो कि विक्रय से वर्जित थी, उस जमीन को किसी दूसरे युवक ने फर्जी दस्तावेज की दम पर खुद आदिवासी बनकर अपने नाम करा लिया था। इस मामले में एसडीएम पोहरी ने रजिस्ट्री को शून्य करते हुए इस पूरे फर्जीबाड़े को अंजाम देने वाले तहसीलदार, पटवारी, उप पंजीयक सहित रजिस्ट्री कराने वाले युवक पर एफआईआर करने के आदेश जारी कर दिए है।
पूरे मामले में खास बात यह रही कि जब मामले की शिकायत सीएम हेल्पलाइन पर हुई तब इस मामले में कार्रवाई हुई।
ग्राम नैनागढ़ निवासी दौजो आदिवासी (६९) की जमीन को एक युवक अभय पुत्र हाकिम धाकड़ निवासी दुल्हारा ने कुटरचित दस्तावेज तैयार करने के बाद आदिवासी बनकर अपने नाम करा लिया था। यह मामला पिछले ७ साल से चल रहा था और वृद्धा न्याय के लिए दर-दर भटक रही थी। मामले की शिकायत सीएम हेल्पलाइन के माध्यम से पोहरी एसडीएम राजन वी नाडिया तक पहुंची तो उन्होंने परत दर परत मामले की जांच की। दस्तावेजों का अवलोकन किया तो हकीकत सामने आ गई। जांच में पाया गया कि वास्तविक रूप से ग्राम नैनागढ़ में सर्वे क्रमांक 216 रकबा 0.85 हैक्टेयर की भूमि दौजो आदिवासी की है, जिसे डरा धमकाकर अभय पुत्र हाकिम धाकड़ ने कूटरचित दस्तावेज तैयार कर खुद आदिवासी बनकर अपने नाम वर्ष 2014 में करा ली, जबकि वर्ष 2015 में इसका नामांतरण भी हो गया। वर्तमान में उक्त भूमि पर नरेश व हाकिम पुत्रगण वंश धाकड़ जाति किरार काबिज होकर खेती कर रहे हैं। जांच के बाद एसडीएम राजन बी नाडिया द्वारा मध्यप्रदेश भू.राजस्व संहिता 1959 की धारा 170.ख में प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए ग्राम नैनागढ़ में स्थित भूमि सर्वे नंबर 216 रकबा 0.85 हैक्टेयर के उप पंजीयक कार्यालय पोहरी द्वारा किए गए विक्रय पत्र के आधार पर किए गए अंतरण को शून्य घोषित कर दिया है। साथ ही तहसीलदार बैराड़ की नामांतरण पंजी से उक्त भूमि के विक्रय नामांतरण को निरस्त किया है।
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अभय धाकड़ को बेदखल कर दौजो को दिलाया कब्जा
जांच में पाया कि आदिवासी जनजाति के सदस्य की भूमि को कलेक्टर की अनुज्ञा बिना मंजूरी के गैर आदिवासी जनजाति के सदस्य को विक्रय की गई, जो नियम विरूद्ध है। एसडीएम द्वारा जारी किए गए आदेश में उल्लेख किया गया है कि फिर से उक्त जमीन को दौजो के नाम खसरे में दर्ज किया और पटवारी द्वारा अमल में करने के बाद खसरा की प्रति एसडीएम के समक्ष संलग्न की जावे। उक्त भूमि से अभय धाकड़ को बेदखल कर दौजो आदिवासी को जमीन पर कब्जा दिलाया गया है।
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दोषियों पर होगी एफआईआर
एसडीएम नाडिया ने पैतृक भूमि हड़पने एवं विक्रय पत्र से नामांतरण कराने की प्राथमिकी दर्ज कराने के संबंध में बैराड़ तहसीलदार को आदेशित करते हुए लिखा कि उक्त भूमि को धोखाधड़ी कर अभय पुत्र हाकिम आदिवासी बताकर विक्रय पत्र संपादित करा लिया गया है, जबकि उक्त भूमि गैर आदिवासी को विक्रय की गई है। इसलिए इस मामले में तहसीलदार सुनील शर्मा, उप पंजीयक, पटवारी के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराकर प्रकरण की एक प्रति एसडीएम कार्यालय को भेजे। इस मामले में एसडीएम ने पटवारी राजेश वर्मा को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है।
यह बोले जिम्मेदार
- अभय धाकड़ ने खुद को आदिवासी बताकर फर्जी दस्तावेजो पर वृद्धा की जमीन को अपने नाम करा लिया था। मैंने रजिस्ट्री को शून्य करते हुए संबंधित तहसीलदार, पटवारी, उप पंजीयक, अभय व दो गवाहों पर धोखाधड़ी का केस दर्ज कराने के आदेश जारी किए है। पटवारी को निलंबित कर दिया गया है।
राजन वी नाडिया, एसडीएम, पोहरी।

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