जिला मुख्यालय स्थित कृषि उपज मंडी परिसर में बनाए गए उपार्जन केंद्र सीधी खुर्द का संचालन शुरू से ही लापरवाही पूर्ण था। यहां स्थित टीन शेड में बड़ी मात्रा में गेहूं व मसूर का भंडारण कर दिया गया है। टीनशेड कई जगह टूटी हुई है, जिससे बारिश का पानी अंदर भर जाता है। गेहूं व मसूर की सैकड़ों बारियां खुले आसमान तले भी छोड़ दी गईं थीं। वहीं टिकरी सहित अन्य ग्रामीण अंचलों में भी खुले आसमान के नीचे रखी उपज भींग गई है। अधिकारी गलती मानने की बजाय एक-दूसरे पर पल्ला झाडऩे लगे हैं।
आकड़ों की बात करें तो अब तब दो लाख 95 हजार 397 क्विंटल गेहूं की खरीदी हो पाई है। जिसके बदले अभी तक मात्र एक लाख 82 हजार 941 क्विंटल ही गेहूं का भंडारण हो पाया है, जबकि एक लाख 12 हजार 355 क्विंटल गेहूं का भंडारण शेष है। इन दिनों शाम को रोजाना मौसम का रुख बदल जाता है। तेज आंधी के साथ बारिश का दौर चल रहा है, फिर भी उपज की सुरक्षा के लिए कोई व्यवस्था नहीं है।
उपार्जन केंद्रों में उपज की सुरक्षा की जि मेदारी केंद्र प्रभारी की होती है। लेकिन उपार्जन केंद्र के प्रभारी तीन दिन से मौसम खराब होने के बाद भी ढंकने के लिए पन्नी तक की खरीदी नहीं कर पाए हैं। लापरवाही की स्थिति यही रही तो पानी में भीग रही उपज पूरी तरह से सड़कर नष्ट हो जाएगी।