ग्रामीणों को किया सावधान
वन विभाग के अधिकारी रवि सिंह भाटी ने बताया कि देर रात को सूचना मिली थी कि गणेश्वर के वन क्षेत्र में पैंथर व शावक देखे गए हैं। ऐसे में विभाग की टीम को पैंथर व शावक पर नजर रखने के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने बताया कि वन विभाग की टीम ग्रामीणों से भी बराबर संपर्क में है। जो उन्हें सावधान रहने की हिदायत दे रही है।
16 पैंथर की हो चुकी है मौत
इधर, विभागीय आकड़ो के अनुसार गणेश्वर व आसपास के वन क्षेत्र में पिछले करीब सात वर्ष के अंतराल में 16 पैंथरों की मौत हो चुकी हैं। बकरी चरवाहों व ग्रामीणों की मानें तो अभी भी 50 किलोमीटर वन क्षेत्र में एक दर्जन से भी अधिक पैंथर मौजूद हैं। जिन्होंने अपने अपने क्षेत्रों में कब्जा कर रखा है। भोजन व पानी के अभाव में इनका आबादी क्षेत्रों में आवागमन बना रहता है। ग्रामीणों की मांग है कि गणेश्वर के वन क्षेत्र को सरकार द्वारा पैंथर रिजर्व घोषित किया जाना चाहिए। ताकि वन्य जीवों की सुरक्षा व संरक्षण हो सके। साथ ही आबादी क्षेत्रों में उनका आवागमन कम होने पर आसपास के गांव के लोग भी सुकून से रह सके।