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मानवता शर्मसार

locationसीकरPublished: Aug 17, 2019 02:47:43 am

डेढ़ घंटे पहले जन्मी मासूम को अस्पताल में छोड़ारक्षा बंधन पर नाम मिला ‘रक्षिता’

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सीकर. सरकारी जनाना अस्पताल के पालना गृह में गुरुवार रात फिर एक नवजात बच्ची मिली। नवजात को रात करीब सवा बजे पालना गृह में कोई छोड़ा गया। जिसकी सूचना पर मेल नर्स सुमित्रा देवी ने मासूम को संभाला और उसे अस्पताल लेकर पहुंची। जहां मासूम को एफबीएनसी वार्ड में भर्ती कर उपचार शुरू किया गया। जनाना अस्पताल के चिकित्सक डा. विजयपाल ने बताया कि नवजात के पीलिया और सांस लेने में तकलीफ है। जिसकी वजह से उसे रातभर ऑक्सीजन पर रखा गया। हालांकि उपचार के बाद उसके स्वास्थ्य में कुछ सुधार हुआ है। रक्षा बंधन पर मिली बेटी का नाम बाल कल्याण समिति की ओर से रक्षिता रखा गया है।
बाल कल्याण समिति पहुंची अस्पताल
पालना गृह में नवजात मिलने की सूचना अस्पताल प्रशासन ने शुक्रवार सुबह बाल कल्याण समिति को दी। इस पर समिति अध्यक्ष डॉ.रतनलाल मिश्रा, सदस्य गिरवर सिंह और शिशु गृह प्रबंधक नरेश कुमार गुर्जर अस्पताल पहुंचे। यहां उन्होंने नवजात के स्वास्थ्य की जानकारी ली। बाल कल्याण समिति के गजेन्द्र सिंह चारण ने बताया कि नवजात दो किलो ४०० ग्राम की है। जिसे पूरी तरह स्वस्थ नहीं होने के चलते कुछ दिन अस्पताल में ही रखने का फैसला हुआ है।
३५ दिन में पालने में आई तीसरी बेटी
जनाना अस्पताल के पालना गृह में बच्ची मिलने का ३५ दिन में यह तीसरा मामला है। इससे पहले पिछले महीने ११ जुलाई और नौ अगस्त को भी पालना गृह में नवजात कन्या को छोड़ दिया गया था। यदि मौजूदा साल की बात करें तो अब तक पांच कन्या पालना गृह में छोड़ी जा चुकी है। जिनमें से बाल कल्याण समिति की ओर से एक को गोद दिया जा चुका है। जबकि दो की प्रक्रिया चल रही है। यदि कन्या भू्रण के मामले भी जोड़ें तो इस महीने ही कन्या छोड़ जाने का यह पांचवा मामला है।

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