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REET में ये विषय बनेगा अभ्यर्थियों के लिए परेशानी

locationसीकरPublished: Sep 10, 2020 11:33:54 am

Submitted by:

Sachin

राजस्थान में रीट (REET Exam) के जरिए होने वाली तृतीय श्रेणी शिक्षक भर्ती (Rajasthan Third Grade Teacher Recruitment ) में इस बार भी सामाजिक विज्ञान (Social Science) के अभ्यर्थियों के बीच नौकरी को लेकर सबसे ज्यादा संघर्ष रहेगा।

सामाजिक विज्ञान के अभ्यर्थियों को सरकारी नौकरी के लिए करनी होगी कड़ी मशक्कत

सामाजिक विज्ञान के अभ्यर्थियों को सरकारी नौकरी के लिए करनी होगी कड़ी मशक्कत

सीकर. राजस्थान में रीट (REET Exam) के जरिए होने वाली तृतीय श्रेणी शिक्षक भर्ती (Rajasthan Third Grade Teacher Recruitment ) में इस बार भी सामाजिक विज्ञान (Social Science) के अभ्यर्थियों के बीच नौकरी को लेकर सबसे ज्यादा संघर्ष रहेगा। पहले ही सामाजिक विज्ञान में अन्य विषयों के मुकाबले ज्यादा अभ्यर्थी थे, लेकिन अब वाणिज्य संकाय के विद्यार्थियों को भी सामाजिक विज्ञान विषय में शामिल करने से चुनौती ओर ज्यादा बढ़ जाएगी। माध्यमिक शिक्षा बोर्ड की पिछली रीट परीक्षाओं के हिसाब से प्रदेश में दस लाख से अधिक बीएड डिग्रीधारी है। इनमें से साढ़े तीन से चार लाख अभ्यर्थी सामाजिक विज्ञान विषय से हैं। अब इसमें वाणिज्य संकाय के तीन लाख से अधिक अभ्यर्थियों के और शामिल होने से इस विषय में प्रतिस्पर्धा ओर ज्यादा बढ़ेगी।

पहले रीट में करते शामिल, लेकिन पद एक भी नहीं
पिछली रीट भर्ती परीक्षाओं में वाणिज्य संकाय के विद्यार्थियों को शामिल किया गया। लेकिन द्वितीय लेवल की विज्ञप्ति में एक भी पद नहीं दिया गया। इस कारण पिछले दस वर्षों में वाणिज्य संकाय के विद्यार्थी तृतीय श्रेणी शिक्षक नहीं बन सके। सामाजिक विज्ञान के पदों में पहले से छह विषयों के अभ्यर्थी शामिल होते रहे हैं।

दो भर्तियों में सबसे ज्यादा कट ऑफ

पिछली दो तृतीय श्रेणी शिक्षक भर्तियों की बात करें तो सामाजिक विज्ञान विषय की कट ऑफ अन्य विषयों ज्यादा रही है। आंकड़ों के हिसाब से देखें तो सामाजिक विज्ञान की कट ऑफ अन्य विषयों से छह से आठ फीसदी तक ज्यादा रही है।

सामाजिक विज्ञान के पदों में हो बढ़ोतरी

सामाजिक विज्ञान में पहले से सबसे ज्यादा अभ्यर्थी शामिल होते हैं। इस साल शिक्षा विभाग को सामाजिक विज्ञान विषय के पदों में बढ़ोतरी करनी चाहिए। विभाग चाहे तो भूगोल व वाणिज्य संकाय के विद्यार्थियों के लिए अलग विषय का भी एनसीआरटीई की गाइडलाइन के हिसाब से निर्धारण कर सकता है।
संदीप कलवानियां, एक्सपर्ट

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