script

जब इन मां-बेटो का दर्द आम जनता तक पहुंचा तो मदद के लिए आगे आए हजारों हाथ, ऐसी है दास्तां

locationसीकरPublished: Apr 17, 2018 10:30:50 am

Submitted by:

Vinod Chauhan

रोलसाहबसर गांव के पीडि़त परिवार की मदद के लिए प्रशासन के साथ अब दानदाता भी आगे आने लगे हैं।

painfull news,Painfull story of family from rolsabsar fatehpur sikar,helpless story of a family in sikar

फतेहपुर/रामगढ़-शेखावाटी.

रोलसाहबसर गांव के पीडि़त परिवार की मदद के लिए प्रशासन के साथ अब दानदाता भी आगे आने लगे हैं। बाबूलाल मेघवाल की गूंगी व बहरी पत्नी गणपति की पेंशन शुरू की जाएगी। उसके नेत्रहीन बच्चों लक्ष्मी, मुकेश व निकिता को पालनहार योजना से जोड़ा जाएगा। राजस्थान पत्रिका में सामाचार प्रकाशन के बाद तहसीलदार कपिल उपाध्याय व समाज कल्याण अधिकारी रूपाराम नाई मौके पर पहुंचे। वहां पता चला कि परिवार के सदस्यों के अभी तक ना तो आधार कार्ड बने हैं ना ही भामाशाह कार्ड। बच्चों के आधार कार्ड आंख नहीं होने के कारण नहीं बन पाए। आधार कार्ड नहीं होने के कारण इन्हें किसी भी योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा। इस पर तहसीलदार ने हाथों के प्रिंट से आधार कार्ड बनाने के निर्देश दिए। समाज कल्याण अधिकारी रूपाराम ने बताया कि आधार कार्ड बनने के बाद इनकी पेंशन शुरू कर दी जाएगी। बच्चों को पालनहार योजना से जोड़ा जाएगा। वहीं इस संबंध में एसडीएम रेणु मीणा से परिवार को सरकारी सहायता दिलाने व चिकित्सा सुविधा दिलाने के बारे में पूछा तो उन्होंने बताया कि उनको ऐसी कोई जानकारी नहीं है। फिर भी बीसीएमओ से बात करूंगी।

 

यह भी पढ़ें

दर्द भरी दास्तां : यहां मां और बच्चों के साथ कुदरत ने किया क्रूर मजाक, हे भगवान… ऐसा ना हो किसी के साथ


उठ रहे सवाल
गांव में ग्रामसेवक, पटवारी के अलावा अनेक सरकारी कर्मचारी मौजूद रहते हैं। हर साल विशेष अभियान चलाए जाते हैं इसके बावजूद परिवार को सहायता नहीं मिलना, आधार कार्ड नहीं बनना, भामाशाह कार्ड नहीं बनना और तो और विकलांगता प्रमाण पत्र नहीं बनना सरकारी सिस्टम की कार्यशैली पर भी सवाल उठा रहा है। स्थानीय लोगों का कहना है जो कर्मचारी यह कार्ड बनवाने व सहायता दिलाने के लिए जिम्मेदार थे, उनके खिलाफ ठोस कार्रवाई की जानी चाहिए।


पत्रिका ने समझा था परिवार का दर्द
सोमवार को ‘मां और बच्चों के बीच स्पर्श का अटूट रिश्ता’ शीर्षक से राजस्थान पत्रिका में समाचार प्रकाशित किया गया था। खबर प्रकाशित होने के बाद तहसीलदार कपिल उपाध्याय व रूपाराम नाई पीडि़त परिवार के घर पहुंचे। इनके अलावा समाजसेवी महबूब देवड़ा ने इलाज करवाने में सहयोग करने व आर्थिक सहायता की पेशकश की। हाकम अली खान पीडि़त परिवार के घर पहुंचे व पंचायत के स्तर पर सभी कागजात पूर्ण करवाने का आश्वासन दिया। झाबर सिंह बिजारणियां, पैरा ओलंपिक खिलाड़ी महेश नेहरा, बजरंग चनेजा सहित कई लोगों ने भी मदद की पेशकश की।

ट्रेंडिंग वीडियो