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सीकर

गुरुजी गए सम्मान लेने, खाली लौटे

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सीकरSep 06, 2018 / 11:46 am

vishwanath saini

Rajasthan Teachers return without honor on Teachers day 2018

Rajasthan Teachers return without honor on Teachers day 2018

सीकर. जयपुर के अमरूदों के बाग में आयोजित कार्यक्रम में सम्मान लेने गए शिक्षक घूमकर वापस लौट आए। क्योकि जिले के 150 से अधिक शिक्षक काफी देरी से जयपुर पहुंचे। इस कारण शिक्षकों को कार्यक्रम स्थल पर प्रवेश नहीं दिया गया। इस कारण शिक्षक इधर-उधर भटकते रहे। शिक्षकों ने अपने जिले के अधिकारियों को भी फोन किए, लेकिन उन्होंने भी मदद से साफ इंकार कर दिया। शिक्षकों का आरोप है कि शिक्षा विभाग की ओर से नकारा बस उपलब्ध कराई गई। इस कारण समय पर जयपुर नहीं पहुंच सके।


निजी वाहनों पर ब्रेक
शिक्षा विभाग ने निजी वाहनों से कार्यक्रम में जाने पर पाबंदी लगा दी थी। इस कारण बीमार शिक्षकों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा। शिक्षकों ने अधिकारियों से काफी गुहार भी लगाई, लेकिन अधिकारियों ने सरकार के नियमों के आदेश का हवाला देते हुए सरकारी गाडिय़ों से ही कार्यक्रम में पहुंचने के निर्देश दिए।


बुलाए ज्यादा, बैठने के इंतजाम नहीं
शिक्षकों का कहना है कि विभाग ने प्रदेशभर से काफी शिक्षकों को बुला लिया, लेकिन बैठने के इंतजाम काफी कम शिक्षकों के किए। सुबह साढ़े बजे के लगभग ही सभागार लगभग पूरा भर गया।


लेते रहे सेल्फी
कार्यक्रम स्थल पर प्रवेश नहीं मिलने से परेशान शिक्षक अमर जवान ज्योति की तरफ चले गए। इस दौरान पुलिसकर्मियों ने यहां से शिक्षकों को वापस लौटा दिया। इसके बाद कुछ शिक्षक दोबारा कार्यक्रम स्थल की तरफ गए, लेकिन उन्हे प्रवेश नहीं दिया गया। ऐसे में शिक्षक कार्यक्रम समाप्ति का इंतजार करते रहे।

इनका कहना है
जिले के शिक्षकों को लगभग पौने आठ बजे सीकर से रवाना कर दिया था। कुछ गाडिय़ों के जाम में फंसने के कारण शिक्षक कार्यक्रम स्थल पर नहीं पहुंचे।
जगदीश प्रसाद शर्मा, जिला शिक्षा अधिकारी, माध्यमिक प्रथम

शिक्षक संगठन: सरकार का विरोध से बचने का तरीका
शिक्षक संगठनों के कई पदाधिकारियों का कहना है कि सरकार को इस कार्यक्रम में विरोध होने की सम्भावना नजर आ रही थी। इसलिए खासकर शेखावाटी के शिक्षकों को जान बूझकर प्रवेश नहीं दिया गया। शिक्षक नेता उपेन्द्र शर्मा का कहना है कि यह शिक्षकों का अपमान है। सम्मान के नाम पर सरकार ने शिक्षकों को परेशान करने और सरकारी धन की बर्बादी के अलावा कुछ नहीं किया है।

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