हर वर्ष चैत्र माह के नवरात्र की नवमी तिथि को रामनवमी का पर्व मनाया जाता है। इस वर्ष रामनवमी का त्योहार बुधवार, 21 अप्रैल को है। रामनवमी पर भगवान राम, माता सीता, भाई लक्ष्मण सहित हनुमान जी पूजा-आराधना की जाती है। इस तिथि पर मंदिर में जाकर भगवान राम का आशीर्वाद प्राप्त किया जाता है। चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि को अयोध्या के राजा दशरथ के यहां भगवान राम का जन्म हुआ था। रामनवमी के दिन लोग बड़े उत्साह और उमंग के साथ मंदिर में पूजा पाठ और मंत्रों का जाप करते हैं, परंतु वर्तमान में बढ़ती महामारी के चलते कोई भी उत्सव का कार्यक्रम नहीं होगा।
अष्टमी पर घरों में हुआ कन्या पूजन
चैत्र नवरात्र की अष्टमी पर मंगलवार को माता की ज्योत लेकर कन्या पूजन किया गया। कन्याओं व बटुक को भोजन कराया गया। भोजन कराने के उपरांत दक्षिणा देकर सुख समृद्धि की कामना की गई। घर घर में माता की जय कार गूंजी आरती और स्तुति की गई। कई घरों में बुधवार को नवमीं पर कन्या पूजन कर नवरात्र का समापन किया जाएगा।
संक्रमण को रोकने के लिए होगा हवन
सुभाष चौक स्थित जानकी वल्लभजी के मंदिर में रामनवमीं पर कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए हवन का आयोजन किया जाएगा। पंडित रोहित शास्त्री ने बताया कि मंदिर में सुबह माता की ज्योत लेकर सवा आठ बजे भगवान जानकीनाथ का पंचामृत से अभिषेक किया जाएगा। दोपहर 12 बजे विशेष आरती की जाएगी। इस दौरान भगवान जानकी नाथ, सीता और हनुमानजी को चांदी का मुकुट अर्पित किया जाएगा।