घर का बुझ गया चिराग
बतादें कि सौरभ मिश्रा अपने मां-बाप का इकलौता बेटा था। उसकी शादी वर्ष २०१४ में हुई थी। ढाई साल का एक बेटा भी है। वर्ष २०१२ से चौकीदार पद पर काम कर रहा था। उसकी पदस्थापना चौकीदार पद की है लेकिन उससे चौकीदारी और चालक दोनों ड्यूटी कराईजा रही थी। उसे आराम करने का थोड़ा मौका भी नहीं दिया जाता था। जिससे काफी परेशानी झेल रहा था। एक तो काम से फुरसत नहीं दूसरे प्रताडऩा। जिसे वो बर्दाश्त नहीं कर सका।
बतादें कि सौरभ मिश्रा अपने मां-बाप का इकलौता बेटा था। उसकी शादी वर्ष २०१४ में हुई थी। ढाई साल का एक बेटा भी है। वर्ष २०१२ से चौकीदार पद पर काम कर रहा था। उसकी पदस्थापना चौकीदार पद की है लेकिन उससे चौकीदारी और चालक दोनों ड्यूटी कराईजा रही थी। उसे आराम करने का थोड़ा मौका भी नहीं दिया जाता था। जिससे काफी परेशानी झेल रहा था। एक तो काम से फुरसत नहीं दूसरे प्रताडऩा। जिसे वो बर्दाश्त नहीं कर सका।
यह है पूरा मामला एडीएम ऋजु बाफना का चालक सौरभ मिश्रा प्रताडऩा से तंग आकर जहरीले पदार्थ का सेवन कर लिया। हालत बिगड़ते देख आनन-फानन में उसे उपचार के लिए नेहरू चिकत्सालय लेकर पहुंचे। जहां उपचार के दौरान सौरभ की मौत हो गई। घटना की सूचना पर रोते बिलखते पहुंचे परिजन बेहोशी हालत में हो गए। परिजनों का आरोप था कि गनमैन उमेश सिंह और एडीएम की प्रताडऩा से सौरभ ने आत्मघाती कदम उठाया।
जेल भेजवा देने की धमकी
घटना के पहले चालक सौरभ मिश्रा ने आपबीती अपने परिजनों को बारीकी से बताया था। जिसके बाद मृतक की मां-बाप ने उसे आश्वस्त करते हुए कहा था कि चिंता मत करो। एडीएम मैडम भी इंसान हैं क्यों प्रताडि़त करती हैं इस संबंध में हम उनसे बात करेंगे। प्रताडऩा के संबंध में परिजनों ने एडीएम से बात किया। जिसके बाद एडीएम ने चालक सौरभ मिश्रा को धमकी देते हुए कहा था कि तुमकों और तुम्हारे मां-बाप सबको जेल भेजवा दूंगी।
घटना के पहले चालक सौरभ मिश्रा ने आपबीती अपने परिजनों को बारीकी से बताया था। जिसके बाद मृतक की मां-बाप ने उसे आश्वस्त करते हुए कहा था कि चिंता मत करो। एडीएम मैडम भी इंसान हैं क्यों प्रताडि़त करती हैं इस संबंध में हम उनसे बात करेंगे। प्रताडऩा के संबंध में परिजनों ने एडीएम से बात किया। जिसके बाद एडीएम ने चालक सौरभ मिश्रा को धमकी देते हुए कहा था कि तुमकों और तुम्हारे मां-बाप सबको जेल भेजवा दूंगी।
एडीएम ने लगाई थी उठक-बैठक
मृतक के पिता रावेन्द्र मिश्रा का आरोप है कि घटना के एक दिन पहले एडीएम ऋजु बाफना ने चालक सौरभ मिश्रा को गनमैन की मौजूदगी में उठक-बैठक लगाकर गंदी गालियां दी थी। जिसे वो अपमानित हुआ। एडीएम की ऐसी हरकत बेटे ने बर्दाश्त नहीं कर सका और उसने आत्मघाती कदम को चुना। फोन से बात होने पर उसने कहा था कि मैडम आ रही हैं फोन रख रहा हूं।
मृतक के पिता रावेन्द्र मिश्रा का आरोप है कि घटना के एक दिन पहले एडीएम ऋजु बाफना ने चालक सौरभ मिश्रा को गनमैन की मौजूदगी में उठक-बैठक लगाकर गंदी गालियां दी थी। जिसे वो अपमानित हुआ। एडीएम की ऐसी हरकत बेटे ने बर्दाश्त नहीं कर सका और उसने आत्मघाती कदम को चुना। फोन से बात होने पर उसने कहा था कि मैडम आ रही हैं फोन रख रहा हूं।
तहसीलदार ने परिजनों से की झूमाझटकी
परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल हो गया था। बदहवास हालत में परिजनों की चीख पुकार मची थी। पोस्टमार्टम कराने के लिए तहसीलदार विवेक गुप्ता ने परिजनों को जबरन उठाकर धक्का देते हुए झूमाझटकी किया। तहसीलदार पूरी तरह से तेवर में आ गए थे। मामला गरमाता हुआ देख कोतवाल मनीष त्रिपाठी व विंध्यनगर टीआई अरूण पाण्डेय ने मामले को शांत कराया। तहसीलदार को परिजनों ने जमकर खरी-खोटी सुनाई। किसी पर पहाड़ टूट जाए और प्रशासन उल्टा पीडि़त पर ही कहर बरपाने लगे। यह तो सरेराह अन्याय है।
परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल हो गया था। बदहवास हालत में परिजनों की चीख पुकार मची थी। पोस्टमार्टम कराने के लिए तहसीलदार विवेक गुप्ता ने परिजनों को जबरन उठाकर धक्का देते हुए झूमाझटकी किया। तहसीलदार पूरी तरह से तेवर में आ गए थे। मामला गरमाता हुआ देख कोतवाल मनीष त्रिपाठी व विंध्यनगर टीआई अरूण पाण्डेय ने मामले को शांत कराया। तहसीलदार को परिजनों ने जमकर खरी-खोटी सुनाई। किसी पर पहाड़ टूट जाए और प्रशासन उल्टा पीडि़त पर ही कहर बरपाने लगे। यह तो सरेराह अन्याय है।
गनमैन को फिर क्यों बुलाई मैडम…?
बतादें कि जब चालक सौरभ मिश्रा और गनमैन उमेश सिंह के बीच विवाद हुआ तो मामले की शिकायत चालक ने कलेक्टर व एसपी से किया था। शिकायत को गंभीरता से लेकर कलेक्टर अनुराग चौधरी ने गनमैन को हटा दिया था। जिसके बाद मामला कुछ शांत हुआ था। मगर हुआ यूं कि एडीएम ने गनमैन को वापस ड्यूटी पर बुला लिया। जिसके बाद गनमैन और चालक के बीच पुन: विवाद होने लगा। एडीएम के संरक्षण में गनमैन उमेश सिंह ने आए दिन सौरभ को प्रताडि़त करने लगा।
बतादें कि जब चालक सौरभ मिश्रा और गनमैन उमेश सिंह के बीच विवाद हुआ तो मामले की शिकायत चालक ने कलेक्टर व एसपी से किया था। शिकायत को गंभीरता से लेकर कलेक्टर अनुराग चौधरी ने गनमैन को हटा दिया था। जिसके बाद मामला कुछ शांत हुआ था। मगर हुआ यूं कि एडीएम ने गनमैन को वापस ड्यूटी पर बुला लिया। जिसके बाद गनमैन और चालक के बीच पुन: विवाद होने लगा। एडीएम के संरक्षण में गनमैन उमेश सिंह ने आए दिन सौरभ को प्रताडि़त करने लगा।
एडीएम और गनमैन पर दर्ज हो मुकदमा
मृतक की मां फूट-फूटकर रोते हुए बेटे की पीड़ा बयां कर रही थी। कहा कि ऋजु बाफना मैडम की वजह से बेटे ने आत्महत्या किया है। एडीएम और गनमैन के खिलाफमुकदमा दर्जहोना चाहिए। गनमैन भी मैडम के साथ मिलकर सौरभ को प्रताडि़त करता था लेकिन उसकी सुनवाईनहीं होने का नतीजा यह कि सौरभ अब इस दुनियां में नहीं रहा। उसे आत्महत्या करने के लिए मजबूर कर दिया गया था। प्रताडऩा सहन नहीं कर सका और तंग आकर सुसाइड कर लिया।
मृतक की मां फूट-फूटकर रोते हुए बेटे की पीड़ा बयां कर रही थी। कहा कि ऋजु बाफना मैडम की वजह से बेटे ने आत्महत्या किया है। एडीएम और गनमैन के खिलाफमुकदमा दर्जहोना चाहिए। गनमैन भी मैडम के साथ मिलकर सौरभ को प्रताडि़त करता था लेकिन उसकी सुनवाईनहीं होने का नतीजा यह कि सौरभ अब इस दुनियां में नहीं रहा। उसे आत्महत्या करने के लिए मजबूर कर दिया गया था। प्रताडऩा सहन नहीं कर सका और तंग आकर सुसाइड कर लिया।
दोपहर बाद हुआ शव का पोस्टमार्टम
जब चालक का शव पोस्टमार्टम हाउस के पास पहुंचा तो परिजनों ने शव का पोस्टमार्टम करने से मना कर दिया। इस मौके पर पूर्व भाजपा जिलाध्यक्ष रावनिवास शाह, भाजयुमों जिलाध्यक्ष विनोद चौबे सहित अन्य जन प्रतिनिधियों ने परिजनों का साथ दिया। बुधवार सुबह से पोस्टमार्टम हाउस के पास लोगों की काफी भीड़ जुटी रही। भीड़ के मद्देनजर पुलिसबल भी मौजूद रहा। ताकि किसी तरह की अनहोनी न हो सके।
जब चालक का शव पोस्टमार्टम हाउस के पास पहुंचा तो परिजनों ने शव का पोस्टमार्टम करने से मना कर दिया। इस मौके पर पूर्व भाजपा जिलाध्यक्ष रावनिवास शाह, भाजयुमों जिलाध्यक्ष विनोद चौबे सहित अन्य जन प्रतिनिधियों ने परिजनों का साथ दिया। बुधवार सुबह से पोस्टमार्टम हाउस के पास लोगों की काफी भीड़ जुटी रही। भीड़ के मद्देनजर पुलिसबल भी मौजूद रहा। ताकि किसी तरह की अनहोनी न हो सके।