जिले के गठन के साथ ही ज्यादातर आला अधिकारी एनटीपीसी विंध्यनगर कालोनी में ही रहते हैं और वहां की सारी व्यवस्थाओं का लाभ लेते हैं। पूर्व में तत्कालीन कलेक्टर अनुराग चौधरी ने अलग से आफीसर्स कालोनी बनाने की योजना पर इसलिए भी गौर फरमाया था कि अधिकारियों पर सुविधाओं का लाभ लेने के बदले प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से कोई दबाव न हो, लेकिन वर्तमान में कॉलोनी का प्रस्ताव ठंडे बस्ते में है।
पुराने आवास को बना दिया कार्यालय
अधिकारियों के लिए पचौर में ऑफीसर्स कालोनी बनेगी। इस योजना के मद्देनजर पचखोरा में अधिकारियों के लिए बने आवासों को दूसरे उपयोग में ले लिया गया। एक आवास में तहसील कार्यालय बनाया। इस स्थिति में अधिकारियों का आवास उपयोग में तो आ गया, लेकिन रहने की व्यवस्था हाथ से निकल गई।
अधिकारियों के लिए पचौर में ऑफीसर्स कालोनी बनेगी। इस योजना के मद्देनजर पचखोरा में अधिकारियों के लिए बने आवासों को दूसरे उपयोग में ले लिया गया। एक आवास में तहसील कार्यालय बनाया। इस स्थिति में अधिकारियों का आवास उपयोग में तो आ गया, लेकिन रहने की व्यवस्था हाथ से निकल गई।
पचौर में खाली पड़ी है पर्याप्त जमीन
अधिकारियों के मुताबिक पचौर में आफीसर्स कालोनी बनाने के मद्देनजर पर्याप्त शासकीय जमीन खाली है। पॉलिटेक्निक कालेज के पास स्थित इस जमीन में कालोनी का निर्माण किया जाता है तो शहरी क्षेत्र का विस्तार हो जाएगा। इसी उद्देश्य से कालोनी बनाने की योजना बनाई गई थी।
अधिकारियों के मुताबिक पचौर में आफीसर्स कालोनी बनाने के मद्देनजर पर्याप्त शासकीय जमीन खाली है। पॉलिटेक्निक कालेज के पास स्थित इस जमीन में कालोनी का निर्माण किया जाता है तो शहरी क्षेत्र का विस्तार हो जाएगा। इसी उद्देश्य से कालोनी बनाने की योजना बनाई गई थी।