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सिंगरौली

मुख्यमंत्री ने दिया निर्देश फिर भी केवल एक तिहाई काम पूरा

शहर में खड़ी हो गई बड़ी समस्या …..

सिंगरौलीJun 22, 2021 / 11:57 pm

Ajeet shukla

Sewerage work incomplete in Singrauli despite CM's instructions

Sewerage work incomplete in Singrauli despite CM’s instructions

सिंगरौली. जिले में सीवरेज का निर्माण कार्य शहरी क्षेत्र की जनता के लिए ही नहीं बल्कि जिला प्रशासन और नगर निगम अधिकारियों के लिए भी परेशानी का सबब बन गया है। जिला प्रशासन व नगर निगम के अधिकारियों ने एड़ीचोटी का जोर लगा दिया। इसके बावजूद निर्माण कार्य में लगी केके स्पन कंपनी का रवैया पहले की मनमानी तरीके से कछुआ चाल सरीखे चल रहा है।
आलम यह है कि 4 वर्ष में कंपनी अभी तक एक तिहाई काम भी पूरा नहीं कर पाई है। यह हाल तब है जबकि लापरवाही करने पर कंपनी को ठेका निरस्त किए जाने तक की चेतावनी दी जा चुकी है। शहरी क्षेत्र में चल रहे सीवरेज निर्माण के कार्य के संबंध में बताया गया कि भी तक कंपनी केवल 32 फीसदी काम कर पाई है। शहरी क्षेत्र को तीन जोन विभाजित कर सीवरलाइन बनाते हुए उन्हें संबंधित जोन के एसटीपी (सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट) से जोडऩा है।
अभी तक कंपनी एक जोन का कार्य भी पूरा नहीं कर पाई है। निगम अधिकारियों के मुताबिक हिर्रवाह जोन में बनने वाले एसटीपी से माजन मोड़ के एक किलोमीटर आगे से परसौना तक की बस्तियों में सीवरेज लाइन व एसटीपी प्लांट बनाकर लाइन का उससे कनेक्ट करना है, लेकिन यहां अभी केवल 62 फीसदी काम हो पाया है। इस जोन का कार्य सबसे अधिक माना जा रहा है।
इसके अलावा बाकी के अन्य दो जोन की बात करें तो बिलौंजी जोन व नवजीवन विहार जोन में 18 से 20 फीसदी काम ही हो पाया है। यहां अभी केवल पाइपलाइन बिछाई जा रही है। गौरतलब है कि बिलौंजी जोन में माजन मोड़ व नवजीवन विहार के साथ पूरा वैढऩ क्षेत्र शामिल है। जबकि वैढऩ के आगे विंध्यनगर का पूरा क्षेत्र नवजीवन विहार जोन में शामिल किया गया है।
वर्ष 2017 से शुरू हुआ है कंपनी का कार्य
शहरी क्षेत्र में सीवरेज का कार्य वर्ष 2017 से शुरू है। केके स्पन नाम की कंपनी को यह कार्य 110.46 करोड़ रुपए में दिया गया है। कंपनी को यह कार्य वर्ष 2020-21 में पूरा कर लेना था, लेकिन स्थिति यह है कि अभी तक एक तिहाई कार्य भी पूरा नहीं हो पाया है। कंपनी के सुस्त रवैये के चलते कई बार नोटिस जारी की जा चुकी है। ठेका निरस्त करने की चेतावनी भी दी गई है, लेकिन नतीजा सिफर है। कंपनी ने सिंगरौली के अलावा रीवा, सतना व कटनी में भी सीवरेज का कार्य लिया है। वहां भी स्थिति कुछ ऐसी ही है।
मनमानी से शहरवासियों की हो रही फजीहत
कंपनी की लचर कार्यप्रणाली के चलते न केवल काम की रफ्तार धीमी है। बल्कि अव्यवस्थित भी है। मनमानी तरीके से किए जा रहे कार्य का नतीजा यह है कि बारिश के बाद उन सभी इलाकों में सड़कों पर कीचड़ फैल गया है, जहां-जहां कंपनी ने सीवरेज लाइन का कार्य किया है। खासतौर पर माजन मोड़ से आगे कचनी और आस-पास के क्षेत्रों में लोगों को ज्यादा समस्या झेलनी पड़ रही है। क्योंकि सबसे ज्यादा कार्य वहीं पर किया गया है। बाकी बिलौंजी व नवजीवन विहार में भी कई सड़क दुर्दशा की स्थिति में पहुंच गई हैं।
शासन स्तर से भी नहीं हुई मॉनिटिरिंग
सीवरेज निर्माण के कार्य को लेकर विगत फरवरी महीने में खुद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने समीक्षा की थी और सुस्त कार्य प्रणाली पर नाराजगी जाहिर करते हुए शासन स्तर के अधिकारियों को निर्देशित किया था कि वह कंपनी और निगम की कार्य प्रणाली की जांच करें और रिपोर्ट प्रस्तुत करें। मुख्यमंत्री के इस निर्देश के बावजूद कंपनी की कार्यप्रणाली सुस्त ही बन रही है। आलम यह है कि 4 वर्ष में एक भी जोन का काम पूरा नहीं हो पाया है। फिलहाल एक बार फिर कलेक्टर राजीव रंजन मीना ने समीक्षा शुरू की है।
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