इस तरह जानी वीडियो की हकीकत…
‘पत्रिका टीम’ ने इस वीडियो की हकीकत जानने के लिए सबसे पहले शहर की सभी अंग्रेजी शराब की दुकानों को खंगाला। हमें ठीक वैसी ही लोकेशन शहर में स्थित अंग्रेजी शराब की दुकान नम्बर-४ में दिखी जो वायरल हुए वीडियो में दिख रही है।
इस दुकान का लाइसेंस मीना मेवाड़ा को आंवटित हो रखा है, जो मन्नू मेवाड़ा की रिश्तेदार है। हमने वहां मौजूद सेल्समैन से पूछा कि वीडियो में जो शख्स दिख रहा है, वह कहां है तो जवाब मिला, अभी ये यहां काम नहीं करता। इसके बारे में मन्नू भाई मेवाड़ा ही कुछ बता सकते हैं। फिर हमने मन्नू भाई से सम्पर्क किया तो उन्होंने बताया कि जैसे ही ये वीडियो हमारे सामने आया, हमने तत्काल उसको हटा दिया। इसके बाद हमने आबकारी अधिकारियों से पूछा तो उन्होंने भी इस वीडियो को सही ठहराया और कहा कि हम कार्रवाई कर रहे हैं। हमने पूछा कि शहर में इस तरह खुलेआम कोई कैसे अंकित मूल्य से अधिक दाम वसूल रहा है। उन्होंने सफाई दी कि जैसे ही हमें शिकायत मिलती है हम तत्काल कार्रवाई करते हैं और इस मामले में भी जरूर करेंगे।
‘पत्रिका टीम’ ने इस वीडियो की हकीकत जानने के लिए सबसे पहले शहर की सभी अंग्रेजी शराब की दुकानों को खंगाला। हमें ठीक वैसी ही लोकेशन शहर में स्थित अंग्रेजी शराब की दुकान नम्बर-४ में दिखी जो वायरल हुए वीडियो में दिख रही है।
इस दुकान का लाइसेंस मीना मेवाड़ा को आंवटित हो रखा है, जो मन्नू मेवाड़ा की रिश्तेदार है। हमने वहां मौजूद सेल्समैन से पूछा कि वीडियो में जो शख्स दिख रहा है, वह कहां है तो जवाब मिला, अभी ये यहां काम नहीं करता। इसके बारे में मन्नू भाई मेवाड़ा ही कुछ बता सकते हैं। फिर हमने मन्नू भाई से सम्पर्क किया तो उन्होंने बताया कि जैसे ही ये वीडियो हमारे सामने आया, हमने तत्काल उसको हटा दिया। इसके बाद हमने आबकारी अधिकारियों से पूछा तो उन्होंने भी इस वीडियो को सही ठहराया और कहा कि हम कार्रवाई कर रहे हैं। हमने पूछा कि शहर में इस तरह खुलेआम कोई कैसे अंकित मूल्य से अधिक दाम वसूल रहा है। उन्होंने सफाई दी कि जैसे ही हमें शिकायत मिलती है हम तत्काल कार्रवाई करते हैं और इस मामले में भी जरूर करेंगे।
यह है इस वीडियो में…
ग्राहक: हमें स्ट्रोंग एक बीयर की बोतल दीजिए।
सेल्समैन: (बीयर देेते हुए) ११० रुपए दीजिए।
ग्राहक: पर इस पर तो ९७ रुपए लिखे हुए हैं, आपको ११० रुपए कैसे दे दूं।
सेल्समैन: भाई साहब ग्राहकी का समय है, आप जल्दी से ११० रुपए निकालिए।
ग्राहक: आप ऐसे कैसे १३ रुपए अधिक ले देंगे। हम अंकित मूल्य ही देंगे। इससे ज्यादा नहीं देंगे।
सेल्समैन: यहां इसी रेट में मिलेगी, आपको समझ नहीं आता। ये मन्नूभाई का ठेका है, यहां सरकार की नहीं, भाई की रेट ही लगेगी।
ग्राहक: मैं तो सरकारी रेट (बोतल पर अंकित राशि) ही दूंगा।
सेल्समैन: भाई साहब यहां ठेकेदार ने रेट तय कर रखी है, यदि हमने सरकारी रेट ले ली तो हमें जेब से पैसा डालना पड़ेगा।
(इसके बाद सेल्समैन अपनी मजबूरी गिनाता शुरू करता है और ग्राहक आगे शिकायत करने की बात कहकर वहां से निकल जाता है।)
ग्राहक: हमें स्ट्रोंग एक बीयर की बोतल दीजिए।
सेल्समैन: (बीयर देेते हुए) ११० रुपए दीजिए।
ग्राहक: पर इस पर तो ९७ रुपए लिखे हुए हैं, आपको ११० रुपए कैसे दे दूं।
सेल्समैन: भाई साहब ग्राहकी का समय है, आप जल्दी से ११० रुपए निकालिए।
ग्राहक: आप ऐसे कैसे १३ रुपए अधिक ले देंगे। हम अंकित मूल्य ही देंगे। इससे ज्यादा नहीं देंगे।
सेल्समैन: यहां इसी रेट में मिलेगी, आपको समझ नहीं आता। ये मन्नूभाई का ठेका है, यहां सरकार की नहीं, भाई की रेट ही लगेगी।
ग्राहक: मैं तो सरकारी रेट (बोतल पर अंकित राशि) ही दूंगा।
सेल्समैन: भाई साहब यहां ठेकेदार ने रेट तय कर रखी है, यदि हमने सरकारी रेट ले ली तो हमें जेब से पैसा डालना पड़ेगा।
(इसके बाद सेल्समैन अपनी मजबूरी गिनाता शुरू करता है और ग्राहक आगे शिकायत करने की बात कहकर वहां से निकल जाता है।)
सेल्समैन को हटा दिया…
हां, यह वीडियो मैंने देखा है। इसमें ग्राहक से सेल्समैन ने ९७ की बोतल के अधिक रुपए मांगे थे और शिकायत मिलते ही मैंने उसे उसी समय हटा दिया था। वैसे हम प्रिन्ट रेट से अधिक रुपए नहीं लेते हैं।
मन्नूभाई मेवाड़ा, शराब व्यवसायी
हां, यह वीडियो मैंने देखा है। इसमें ग्राहक से सेल्समैन ने ९७ की बोतल के अधिक रुपए मांगे थे और शिकायत मिलते ही मैंने उसे उसी समय हटा दिया था। वैसे हम प्रिन्ट रेट से अधिक रुपए नहीं लेते हैं।
मन्नूभाई मेवाड़ा, शराब व्यवसायी
कार्रवाई करेंगे…
वीडियो देखा है और इसकी जांच सीआई को सौंपी है। प्रारम्भिक जांच में पता चला है कि जो व्यक्ति उस शराब की दुकान पर काम कर रहा था, वह वहां से भाग गया। उसका नौकरनामा भी नहीं है।
-मोहनराम पूनिया, आबकारी अधिकारी, सिरोही
वीडियो देखा है और इसकी जांच सीआई को सौंपी है। प्रारम्भिक जांच में पता चला है कि जो व्यक्ति उस शराब की दुकान पर काम कर रहा था, वह वहां से भाग गया। उसका नौकरनामा भी नहीं है।
-मोहनराम पूनिया, आबकारी अधिकारी, सिरोही