- वन सम्पदा व वन्यजीवों को भारी नुकसान की आशंका
हालांकि वन महकमे के कारिन्दें कई स्थानों पर दावानल बुझाने का दावा कर रहे हैं, पर सच यह है कि दावानल कई स्थानों पर विकराल रूप ले चुका है। इससे वन सम्पदा व वन्यजीवों को भारी नुकसान होने की आशंका से इनकार नहीं किया जा सकता।
हालांकि वन महकमे के कारिन्दें कई स्थानों पर दावानल बुझाने का दावा कर रहे हैं, पर सच यह है कि दावानल कई स्थानों पर विकराल रूप ले चुका है। इससे वन सम्पदा व वन्यजीवों को भारी नुकसान होने की आशंका से इनकार नहीं किया जा सकता।
- अप्रेल के आरम्भ में शुरू हो गया था दावानल का सिलसिला
भीषण गर्मी के दौर में माउंट के जंगलों में दावानल लगने का सिलसिला भी जारी है। गर्मी का सीजन शुरू होते ही अप्रेल महीने के आरम्भ से ही माउंट की पहाडिय़ों व जंगलों में दावानल लगने की घटनाएं सामने आनी शुरू हो गई थी, जो अभी भी अनवरत जारी है। सिर्फ माउंट ही नहीं, अरावली पर्वत श्रृंखला की पहाडिय़ों में भी कई जगहों पर आग की लपटें उठती दूर-दूर से दिखाई दे रही है। माउंट आबू क्षेत्र में करीब पखवाड़े भर से अलग-अलग स्थानों पर दावानल लगने की लगातार सूचनाएं मिल रही हैं। वन विभाग के अधिकारी और कारिन्दे भी कम मजदूरों की संख्या में रूक-रूककर आग बुझाने की कवायद में जुटे हुए हैं। हालांकि, कई स्थानों पर तो टीम ने 72 घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया है।
भीषण गर्मी के दौर में माउंट के जंगलों में दावानल लगने का सिलसिला भी जारी है। गर्मी का सीजन शुरू होते ही अप्रेल महीने के आरम्भ से ही माउंट की पहाडिय़ों व जंगलों में दावानल लगने की घटनाएं सामने आनी शुरू हो गई थी, जो अभी भी अनवरत जारी है। सिर्फ माउंट ही नहीं, अरावली पर्वत श्रृंखला की पहाडिय़ों में भी कई जगहों पर आग की लपटें उठती दूर-दूर से दिखाई दे रही है। माउंट आबू क्षेत्र में करीब पखवाड़े भर से अलग-अलग स्थानों पर दावानल लगने की लगातार सूचनाएं मिल रही हैं। वन विभाग के अधिकारी और कारिन्दे भी कम मजदूरों की संख्या में रूक-रूककर आग बुझाने की कवायद में जुटे हुए हैं। हालांकि, कई स्थानों पर तो टीम ने 72 घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया है।