अवसाद से ग्रसित थे श्रवण कुमार जानकारी के मुताबिक पिसावां ब्लॉक के सहमत नगर निवासी विजय पाल के चार पुत्रों में सबसे बड़ा बेटा श्रवण कुमार शिक्षामित्र थे। समायोजन के बाद श्रवण कुमार को बेहटा ब्लॉक के प्राथमिक विद्यालय जालिमपुर मरोढ़ में सहायक अध्यापक पद पर तैनात हुए थे। बताते हैं कि शिक्षामित्र पद पर पुन: वापसी के निर्णय के बाद से श्रवण कुमार अवसाद से ग्रसित हो गए थे। श्रवण का बड़ा बेटा सनी सीतापुर स्थित एक कॉन्वेंट स्कूल में कक्षा छह में पढ़ता था। छोटा पुत्र काले खीरी जिले के मैगलगंज कस्बा स्थित एक निजी स्कूल में पढ़ता हंै।
बेटे को कॉन्वेंट स्कूल से निकाला, कहा- अब नहीं पढ़ा सकता श्रवण कुमार के पिता के पास 15 बीघा जमीन है, जिससे परिवार की जीविका चला पाना मुश्किल है। परिजनों की मानें तो तीन दिसंबर को श्रवण ने अपने बेटे सनी को परिवार के सदस्यों के सामने बुलाया और लिपटकर रोने लगा। श्रवण ने बेटे सनी से कहा कि बेटा छह हजार रुपए अब तुम पर खर्च नहीं कर पाएंगे, क्योंकि चार हजार रुपए में हमारा पेट्रोल भी नहीं निकल सकेगा। इसके बाद छह दिसंबर को श्रवण कुमार की हार्ट अटैक पडऩे से मौत हो गई। श्रवण कुमार की मौत के बाद पूरा परिवार सदमे में है। वहीं, सोमवार को जिला पंचायत सदस्य मनोज मिश्र मृतक परिवार से मिलने उनके आवास पर पहुंचे और सांत्वना व्यक्त की। उन्होंने हर संभव मदद का भी आश्वास दिया है।