चार वर्ष में दोगुना खतरा
रिपोर्ट में बताया गया है कि विश्व में पौधों की 1.40 लाख प्रजातियों यानी 39.4 फीसदी पर विलुप्त होने का खतरा मंडरा रहा है। 2016 में यह दर 21 फीसदी थी, यानी चार वर्ष में खतरा दोगुना बढ़ गया।
रिपोर्ट में बताया गया है कि विश्व में पौधों की 1.40 लाख प्रजातियों यानी 39.4 फीसदी पर विलुप्त होने का खतरा मंडरा रहा है। 2016 में यह दर 21 फीसदी थी, यानी चार वर्ष में खतरा दोगुना बढ़ गया।
कैसे-कैसे पौधे
रिपोर्ट कहती है, विलुप्त होने वाली प्रजातियों में कई तो ऐसी हैं, जिनका अब तक प्रयोग ही नहीं हो सका। जबकि सात हजार से ज्यादा ऐसे पौधे हैं, जिनसे खेती कर विश्व की बड़ी आबादी का पेट भरा जा सकता था।
रिपोर्ट कहती है, विलुप्त होने वाली प्रजातियों में कई तो ऐसी हैं, जिनका अब तक प्रयोग ही नहीं हो सका। जबकि सात हजार से ज्यादा ऐसे पौधे हैं, जिनसे खेती कर विश्व की बड़ी आबादी का पेट भरा जा सकता था।
-फैक्ट फाइल
-2016 में 21 फीसदी प्रजातियों के विलुप्त होने का अनुमान था, जो अब 40 फीसदी हो गया।
-7000 से अधिक पौधों से भविष्य में खेती हो सकती थी।
723 औषधीय पौधे हैं इनमें।
-2016 में 21 फीसदी प्रजातियों के विलुप्त होने का अनुमान था, जो अब 40 फीसदी हो गया।
-7000 से अधिक पौधों से भविष्य में खेती हो सकती थी।
723 औषधीय पौधे हैं इनमें।