उन्होंने वैलेंटाइन कार्ड रखने शुरू किए। इनकी डिजाइन को उस समय प्रचलित इंग्लैंड के कार्डों की नकल करके अच्छे कागज का इस्तेमाल कर ज्यादा आकर्षक बनाया। लेकिन कीमत के मामले में कोई समझौता नहीं किया। तब इनकी कीमत करीब 75 सैंट थी जबकि औसत अमरीकी कामगरों की कमाई एक डॉलर प्रतिदिन से कम थी। आज बात करें तो यह 125 डॉलर प्रतिदिन हो चुकी है। इन कार्डों को उन्होंने अपने भाई के जरिए बोस्टन व न्यूयॉर्क में प्रचारित करवाया। इससे ऑर्डर बढऩे लगे। मांग बढ़ी तो कई लोगों को काम पर रखा। उन्होंने न्यू इंग्लैंड वैलेंटाइन कंपनी बनाई।
ब्रांडिंग पर ध्यान दिया तो बिक्री बढऩे लगी
एस्तेर ने बाजार का अध्ययन किया और समझ गईं कि वैलेंटाइन डे से जुड़ी सस्ती और पुरातन सामग्री खरीदारों को लुभा नहीं रही है। उन्होंने प्रत्येक हावलैंड वैलेंटाइन कार्ड पर एक लाल रंग में बड़े आकार में “एच” के साथ मुहर लगाई और इसके साथ फूल-पत्ती जोड़ी। 1864 तक उनकी कंपनी के एजेंट अमरीका के कई राज्यों में हो गए थे। सालाना बिक्री 50 हजार से 75 हजार डॉलर थी जो उस समय भी बड़ी रकम थी।
एस्तेर ने बाजार का अध्ययन किया और समझ गईं कि वैलेंटाइन डे से जुड़ी सस्ती और पुरातन सामग्री खरीदारों को लुभा नहीं रही है। उन्होंने प्रत्येक हावलैंड वैलेंटाइन कार्ड पर एक लाल रंग में बड़े आकार में “एच” के साथ मुहर लगाई और इसके साथ फूल-पत्ती जोड़ी। 1864 तक उनकी कंपनी के एजेंट अमरीका के कई राज्यों में हो गए थे। सालाना बिक्री 50 हजार से 75 हजार डॉलर थी जो उस समय भी बड़ी रकम थी।
खुद ताउम्र अविवाहित रहीं
एक नए बिजनेस का आइडिया देने वाली एस्तेर को बाद में वैलेंटाइन डे आयोजन की आविष्कारक से पुकारा गया। उनकी कारोबारी रणनीति अमरीकी बाजार में एकाधिकार की थी। प्रतिद्वंद्वियों को मात देने के लिए डमी कंपनियों की मदद ली। हालांकि एस्तेर खुद कभी प्यार नहीं कर सकीं। वे ताउम्र अविवाहित रहीं। सडक़ पर फिसलने के कारण उन्हें कई वर्षों तक व्हीलचेयर पर रहना पड़ा। वर्ष 1904 में अपने भाई के घर (मैसाच्युसेट्स) में उन्होंने अंतिम सांस ली।
एक नए बिजनेस का आइडिया देने वाली एस्तेर को बाद में वैलेंटाइन डे आयोजन की आविष्कारक से पुकारा गया। उनकी कारोबारी रणनीति अमरीकी बाजार में एकाधिकार की थी। प्रतिद्वंद्वियों को मात देने के लिए डमी कंपनियों की मदद ली। हालांकि एस्तेर खुद कभी प्यार नहीं कर सकीं। वे ताउम्र अविवाहित रहीं। सडक़ पर फिसलने के कारण उन्हें कई वर्षों तक व्हीलचेयर पर रहना पड़ा। वर्ष 1904 में अपने भाई के घर (मैसाच्युसेट्स) में उन्होंने अंतिम सांस ली।