मेले की मस्ती बीकानेर मे मेलों में श्रद्वालु किसी भी प्रकार के आनंद के क्षणों को लेने से चुकना नहीं चाहते। ऐसा ही कुछ नजारा उदयरामसर स्थित दादाबाड़ी मेले में देखने को मिला। जहां ऊंट व घोड़ों की सवारी का लुफ्त उठाने के लिये श्रद्वालु लालाहित दिखे। मेले में आएं श्रद्वालुओं ने यहां सोनलिया धोरों पर ऊंट व घोड़ों की सवारी कर खूब आनंद उठाया। फोटो नौशाद अली
घुड़सवारी का लिया आनन्द मेले के दौरान खान-पान, झूले, आइसक्रीम आदि की अनेक अस्थाई दुकानें लगीं। मेलार्थियों ने ऊंट व घुड़सवारी का भी आनंद लिया। जिनेश्वर युवक परिषद सहित अनेक संस्थाओं की ओर से नि:शुल्क स्टॉल लगाई गई।फोटो नौशाद अली
ऊंट व घुड़सवारी का लिया आनन्द मेले के दौरान खान-पान, झूले, आइसक्रीम आदि की अनेक अस्थाई दुकानें लगीं। मेलार्थियों ने ऊंट व घुड़सवारी का भी आनंद लिया। जिनेश्वर युवक परिषद सहित अनेक संस्थाओं की ओर से नि:शुल्क स्टॉल लगाई गई। फोटो नौशाद अली
350 साल प्राचीन है उदयरामसर दादाबाड़ी। 80 वर्षों से भर रहा है मेला। 05 घंटे तक चली दादा गुरुदेव की पूजा। 06 हजार से अधिक श्रावक-श्राविकाओं ने ग्रहण किया प्रसाद। फोटो नौशाद अली
बीकानेर सकलश्री जैन संघ के सहयोग से चिंतामणि जैन मंदिर प्रन्यास के तत्वावधान में शुक्रवार को उदयरामसर की प्राचीन दादाबाड़ी में मेला भरा। मेले में दिगम्बर, श्वेताम्बर, खरतरगच्छ, तपागच्छ, पार्श्वचन्द्र गच्छ, शांत-क्रांति जैन साधुमार्गी जैन श्रावक संघ सहित बीकानेर शहर, नाल व देश के विभिन्न प्रदेशों से आए श्रावक-श्राविकाओं ने दादा गुरुदेव जिनदत्त सूरिश्वर की दादाबाड़ी में पूजा की तथा भक्ति संगीत कार्यक्रम में शामिल हुए। फोटो नौशाद अली