यही स्थिति जिला मुख्यालय पर कई बाजारो की है। नगर परिषद प्रशासन ने बाजार क्षेत्र और ब्लॉक एरिया में दुकानों और घरों के आगे सडक़ भूमि हिस्से को खांचा भूमि दर्शा कर उसे बेचान तक डाला, इससे सडक़ों का विस्तार नहीं हो पाया। हालांकि तीन साल पहले राजस्थान हाईकोर्ट के आदेश पर अतिक्रमण साफ करने के लिए जिला प्रशासन ने मुहिम चलाई लेकिन वह बीच में ही दम गई। बाजार क्षेत्र में दमकल की गाड़ी तो दूर दुपहिया वाहनो की आवाजाही करने में भी बाधा आ रही है। अतिक्रमण करने की हौड़ ऐसी मची कि गलियां संकरी हो गई।
इन दुकानों में यदि दिल्ली जैसी आग की घटना हो गई तो आग बुझाने के सारे उपकरण और संसाधन बेबस नजर आएंगे। हर साल दीपावली के दौरान नगर परिषद के अग्नि शमन सेवा केन्द्र की ओर से बार बार आग बुझाने के संबंध में आ रही परेशानी की रिपोर्ट बनाकर नगर परिषद और जिला प्रशासन को भिजवाती है, लेकिन अब तक एक भी रिपोर्ट पर एक्शन नहीं लिया गया है।
शहर के प्रताप मार्केट में अस्थायी दुकानों की भरमार हैै। मुख्य गेट से लेकर गांधी चौक तक पूरी गली में अलग अलग दुकानदारों ने अस्थायी अतिक्रमण कर रखा है। इसी प्रकार पुरानी धानमंडी में नगर परिषद की ओर से पिड़ों का आवंटन नहीं किया है लेकिन वहां लोहे के सामान इस कदर रख दिए है कि वहां वाहनों की आवाजाही तक नहीं हो रही है। इन दुकान से अधिक साइज के इन पिड़ों का इस्तेमाल दुकानदार खुद कर रहे है, इनको रोकने के लिए अब नगरपरिषद प्रशासन ने चुप्पी तक साध ली है।
शहर के प्रताप मार्केट में अस्थायी दुकानों की भरमार हैै। मुख्य गेट से लेकर गांधी चौक तक पूरी गली में अलग अलग दुकानदारों ने अस्थायी अतिक्रमण कर रखा है। इसी प्रकार पुरानी धानमंडी में नगर परिषद की ओर से पिड़ों का आवंटन नहीं किया है लेकिन वहां लोहे के सामान इस कदर रख दिए है कि वहां वाहनों की आवाजाही तक नहीं हो रही है। इन दुकान से अधिक साइज के इन पिड़ों का इस्तेमाल दुकानदार खुद कर रहे है, इनको रोकने के लिए अब नगरपरिषद प्रशासन ने चुप्पी तक साध ली है।
यही हाल पटेल मार्केट का है, इन मार्केट के पार्क के चारों दुकानदारों ने अपना सामान रख कर पूरी गली को ब्लॉक कर दिया है। जवाहर मार्केट में दुपहिया वाहनों की आवाजाही करना मुश्किल हो चुका है। वहीं तहबाजारी में दुकानदारों ने दुकानों के आगे सामान रखकर पूरी रोड को पगडंडी बना दिया है। सदर बाजार में मनियारी की दुकानें अधिक है, वहां ग्राहकों के लिए दुपहिया वाहन खड़े करने की जगह नहीं बची है। पुरानी आबादी सब्जी मंडी के पास कुछ अर्से पहले पटाखे की दुकान में आग लग गई थी तब दो बच्चे जिन्दा जल गए थे। इस घटना के बाद भी नगर परिषद ने सबक नहीं लिया है। नगर परिषद ने सडक़ हिस्से की भूमि को खांचा भूमि बताकर पुरानी आबादी और ब्लॉक एरिया में बेचान तक कर दिया।
यही स्थिति बाजार क्षेत्र के कई मार्गो की है। शाम होते ही लगता है जाम महावीर दल मार्केट, छोटी धानमंडी, स्वामी दयानंद मार्ग, अम्बेडकर चौक, गांधी चौक, नगर परिषद से रेलवे स्टेशन रोड तक पावर हाउस रोड, इंडस्ट्रीयल एरिया, इंदिरा कॉलोनी मार्केट, दुर्गा मंदिर क्षेत्र में शाम के समय अधिक वाहनों की आवाजाही रहती है। वहां जाम लग जाता है। ऐसे में आग की घटना हो जाएं तो इन एरिया में दमकल की गाड़ी पहुंचना मुश्किल हो गई है।