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कोरोना से जंग में बजट भारी भरकम फिर नहीं दिए मास्क और सैनेटाइजर की सुविधा

locationश्री गंगानगरPublished: Apr 06, 2020 10:19:03 pm

Submitted by:

surender ojha

The budget in Corona to battle is not very heavy, but the facility of mask and sanitizerस्वास्थ्य विभाग के पास राज्य सरकार ने भारी भरकम बजट दिया है लेकिन शहर के वार्डो में डोर टू डोर सर्वे कर रही आशाओं को मास्क और दस्ताने तक उपलबध नहीं कराए है।

कोरोना से जंग में बजट भारी भरकम फिर नहीं दिए मास्क और सैनेटाइजर की सुविधा

कोरोना से जंग में बजट भारी भरकम फिर नहीं दिए मास्क और सैनेटाइजर की सुविधा

श्रीगंगानगर. वैश्विक महामारी बन चुके कोरोना वायरस संक्रमण से निपटने के लिए एक ओर पूरे देश को इक्कीस दिनों के लिए लॉक डाउन कर रखा है, वहीं जिले के चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग ने डोर टू डोर सर्वे करने वाली आशा सहयोगिनों को पर्याप्त मेडिकल कीट तक नहीं दी है।
स्वास्थ्य विभाग के पास राज्य सरकार ने भारी भरकम बजट दिया है ताकि रोगियों के साथ साथ फील्ड में काम करने वाले कार्मिकों को इस संक्रमण से लडऩे के लिए सुविधा जा सके। लेकिन शहर के ई वार्डो में डोर टू डोर सर्वे कर रही इन आशाओं को इस संक्रमण के लिए मुंह ढकने के लिए मास्क और दस्ताने तक उपलबध नहीं कराए है। सैनेटाइजर की सुविधा भी नहीं है। यही नहीं हाथ धोने के लिए साबुन तक की व्यवस्था कर रही है।
इन आशाओं को आंगनबाड़ी केन्द्र क्षेत्र में रोजाना पचास-पचास घरों का सर्वे करने के लिए पाबंद किया है। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की ओर से करीब एक सप्ताह पहले दावा किया जा रहा था कि प्रत्येक आशा सहयोगिन को फील्ड में जाने से पहले मास्क, दस्ताने और सैनेटाइजर बांटे जाएंगे लेकिन लॉक डाउन के दस दिन बीतने के बावजूद इन सुविधाओं को उपलब्ध नहीं कराया गया है।
इस संबंध में महिला एवं बाल विकास विभाग के अधिकारियों ने इसके लिए चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग को अधिकृत बताकर अपना पल्ला झाड़ लिया है। वहीं चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के रिकॉर्ड के अनुसार 14 हजार सैनेटाइजर फील्ड में काम करने वाले कार्मिकों को बांटा जा चुका है। वहीं मास्क अलग अलग तिथियों पर आई खेप को वितरित किया गया। लेकिन धरातल पर ऐसा नहीं देखने को मिला।
इधर, जिला प्रशासन ने हनुमानगढ़ स्थित शुगर मिल से इलाके में फील्ड में काम करने वाले कार्मिकों के लिए करीब साठ हजार से अधिक सैनेटाइजर निशुल्क मंगवाए थे। इसमें एक सैनेटाइजर को अधिकांश आशा सहयोगिन को अभी तक उपलब्ध नहीं कराया है। ऐसे लगता है कि आशा सहयोगिनों को फील्ड में डयूटी करने की आड़ में इस रोग से ग्रसित होने के लिए भेज दिया है।
सीएचएमओ ऑफिस को पीएचसी और सीएचसी में चिकित्सा कार्मिकों या इन स्वास्थ्य केन्द्र के क्षेत्र में सर्वे या फील्ड में काम करने वाले कार्मिकों या आशा सहयोगिनों के लिए 14 हजार सैनेटाइजर की खेप आई थी। इसके आवंटित किया गया है। इसके अलावा 3890 सैनेटाइजर नग स्टॉक में है। वहीं 9 हजार फेस मास्क वितरित कर दिए गए। वहीं 70 हजार मास्क खरीदने के लिए ऑर्डर किया गया है।

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