Video: तीस से साठ फीट चौड़ी हो गई सडक़ टैगिंग तक नहीं हुई–जिला प्रशासन ने शहर के आवारा पशुओं की धरपकड कऱ टैगिंग करनी थी। लेकिन अभी तक एक भी आवारा सांडों की टैगिंग नहीं की गई है। शहर की गोशाला में आवारा पशुओं को पकड़ दिया गया लेकिन गोशाला संचालकों ने इनको फिर से छोड़ दिया गया। नगर परिषद आयुक्त ने पैराकार प्रेम चुघ व मदन लाल डूडी को प्रभारी लगा रखा है।
260 आवारा पशुओं को किया शिफ्ट सूरतगढ़ रोड़ स्थित नगर परिषद की अस्थाई गोशाला में आईएमए भवन के पास बनी हुई है। इस गोशाला से 200 आवारा सांडों को नरसिंहपुरा गोशाला में शिफ्ट किया जा चुका है और इसमें अभी भी 60 आवारा पशुओं को रखा हुआ है। इससे पहले 60 पशु रामलीला मैदान से शहर की दो गोशाला में शिफ्ट किए गए थे। नगर परिषद ने 1150 आवारा सांडों को पहले गोशाला को दे रखा है। मिर्जेवाला रोड स्थित नंदीशाला में 100 आवारा सांड व छोटे पशु रखे हुए हैं। नगर परिषद ने पिछले माह सात,आठ व नौ जुलाई को अभियान चलाकर आवारा सांडों को पकड़ कर रामलीला मैदान में रखा। इसके आठ दिन बाद कॉरीडोर बनाकर आवारा सांडों को आईएमए भवन के पास स्थिति गोशाला में रखा गया था।
अब क्या किया जा सकता है मिर्जेवाला रोड स्थित नंदीशाला में वर्तमान में 100 आवारा सांड है और इसमें 250 से 300 आवारा सांड और रखे जा सकते हैं। लेकिन इसके लिए शैड का निर्माण करवाया जाना आवश्यक है। आईएमए भवन के पास की नंदीशाला में 300 पशुओं को रखा जा सकता है। इनका कहना शहर में आवारा पशुओं को पकडऩे के लिए अभियान चलाना है लेकिन पहले 15 अगस्त की वजह से और सैना भर्ती की वजह से नगर परिषद के कर्मचारी व्यस्त है। इस कारण कुछ दिन तक आवारा पशुओं को पकडऩे का अभियान नहीं चल पा रहा है। सुनीता चौधरी, आयुक्त, नगर नगर परिषद, श्रीगंगानगर ।