परिजनों का आरोप है कि डॉयल 100 में तैनात चार पुलिसकर्मी छात्रा को घर से अगवा कर जंगल ले गए। वहां उससे दुष्कर्म किया और छोड़कर चले गए। परिजनों ने आरोप लगाया कि पुलिस वारदात को दबा रही है।
दिनभर चली कवायद के बाद इस मामले में रात करीब पौने एक बजे एफआईआर दर्ज की गई। पीडि़ता के पिता का कहना है कि जांच के नाम पर करीब 10 घंटे बेटी को परेशान किया गया। इसके बाद सिर्फ एक सिपाही पर अपहरण का केस दर्ज किया गया।
दूसरी ओर, पुलिस का कहना है पीडि़ता ने परिजनों के दवाब में गैंगरेप की कहानी सुनाई थी। आरोपी आरक्षक का उसके घर आना-जाना था। इसका फायदा उठाकर आरक्षक उसे बदनीयती से उठा ले गया।
सोमवार रात करीब 11 बजे राघवेन्द्र ने छात्रा को फोन कर कहा, जब घर वाले सो जाएं तो बाहर आ जाना, घूमने चलेंगे। दादा के सोने पर छात्रा बाहर निकली तो राघवेन्द्र उसे हुरावली फिर रतनगढ़ ले गया। छात्रा कहना था कि आरोपी उसे पुलिस की 100 नंबर वाली गाड़ी से लेकर गया था।