कभी ग्रामीण तो कभी मवेशी होते है आइइडी का शिकार
2016 कोंटा विकासखंड मुरलीगुड़ा के पास एक 8 वर्षीय बच्ची की अनिता अपनी माँ के साथ घर लौटते समय प्रेशर आइइडी की चपेट मे आने से उसके छितड़े उड़ गये थे। 2016 मे ही भेज्जि मार्ग में महुआ बीनते समय 55 वर्षीय महिला प्रेशर आइइडी की चपेट मे आने से मौत हो गई थी। तोंगपाल थाना क्षेत्र में भी 2016 2017 में दो ग्रामीणों की आइइडी से मौत हो गई थी।
अब तक सैकड़ों जवान आईईडी ब्लास्ट में शहीद की मौत हो चुकी है
2017 मे ही कोंटा के कांग्रेस के पार्षद अशोक की मौत आइइडी की चपेट में आने से हुई। अब तक सैकड़ों जवान आइइडी ब्लास्ट में शहीद की मौत हो चुकी है। अब तक सैकड़ों जवान आइइडी ब्लास्ट मे शहीद हो चुके हैं। सिफऱ् सुकमा जि़ले में ही 40 से 50 माओवेशी आइइडी ब्लास्ट मे मारे गये।