Chhattisgarh crime: डिलीवरी के समय रुपए नहीं होने की असमर्थता जताने पर की बद्तमीजी, अस्पताल पहुंची प्रसूता तो डिलीवरी में की लापरवाही, प्रीडि़त दंपती ने की कार्रवाई की मांग
Chhattisgarh crime
प्रतापपुर. एक नर्स द्वारा गर्भवती महिला की अस्पताल की जगह अलग से डिलीवरी कराने की बात कहकर 9 महीने तक जांच की गई। बकायदा डॉक्टर की भांति पति-पत्नी से फीस व दवा के नाम पर रुपए भी वसूले गए। जब डिलीवरी की बारी आई तो वह रुपए मांगने लगी। दंपती द्वारा असमर्थता जताने पर उसने बद्तमीजी की।
जब पति अपनी पत्नी की डिलीवरी कराने अस्पताल पहुंचा तो उक्त नर्स ने डिलीवरी के समय नवजात का हाथ तोड़ दिया, इससे उसकी मौत हो गई। इस मामले में पति ने लिखित शिकायत कर नर्स के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है। जांच करने व नवजात की गर्भ में ही मौत होने के मामले में बीएमओ ने जांच शुरू कर दी है। बीएमओ ने मामले में पीडि़त पक्ष का बयान लिया है।
गौरतलब है कि प्रतापपुर बाबापारा निवासी ललित कुमार ने बीएमओ से शिकायत की थी कि वह अपनी गर्भवती पत्नी लक्ष्मी की जांच व इलाज कराने प्रतापपुर अस्पताल आता था। तभी उसकी मुलाकात नर्स शिवकुमारी से हुई, उसने कहा कि तुम यहां क्या इलाज करा पाओगे, मैं तुम्हारी पत्नी की गारंटी के साथ डिलीवरी करा दूंगी।
यह कहकर वह महिला का ९ माह तक इलाज करती रही। नर्स हर बार 200 रुपए फीस व रुपए लेकर दवा भी घर से ही देती थी। फिर जब प्रसव का समय आया तो ललित पत्नी को लेकर नर्स के पास पहुंचा तो उसने रुपए की मांग की। जब ललित ने रुपए नहीं होने की बात कही तो नर्स ने उनके साथ बदतमीजी की।
फिर मजबूरन वह पत्नी को लेकर प्रसव के लिए अस्पताल पहुंचा तो यहां नर्स द्वारा जानबूझकर प्रसव में लापरवाही की गई। पीडि़त ने आरोप लगाया है कि नर्स ने प्रसव के दौरान नवजात का हाथ तोड़ दिया, इससे उसकी मौत हो गई।
बीएमओ ने शुरु की जांच ललित की शिकायत पर बीएमओ राजेश श्रेष्ठ ने मामले की जांच शुरू कर दी है। बीएमओ ने कहा कि पीडि़त पक्ष का बयान लिया गया है, जांच कर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
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