इनमें एक राइटर, एक तकनीकी विशेषज्ञ और एक सहायक शामिल है। पुलिस की टीमें प्रत्येक दिन के डाटा की जांच कर रही है तथा जहां भी संदिग्ध गतिविधियां नजर आ रही हैं, वहां का फुटेज निकाल कर जांच अधिकारी को दिखा रही है। सीडी में उस घटना की क्लीपिंग भी निकाली जा रही है। पुलिस की अन्य टीमें लिम्बायत और पशुपति मार्केट के निकट मिले चोरों के गोदामों के आस-पास के सीसीटीवी कैमरों का डाटा हासिल कर उनकी जांच में जुटी हैं।
नहीं मिला छह महीने का डाटा
बताया जाता है कि आरकेटी मार्केट में चोरी का यह गोरखधंधा छह महीने से अधिक समय से चल रहा था, लेकिन पुलिस को मार्केट से सिर्फ २८ दिन का डाटा मिला है। मार्केट प्रबंधन से जुड़े लोगों का कहना है कि मार्केट का सीसीटीवी सिस्टम अच्छा है। उसकी डाटा क्षमता २८ दिन की है। इससे पहले का डाटा सुरक्षित नहीं रखा जाता।
फिलहाल जांच जारी
आरकेटी मार्केट से १२० टीबी डाटा रिकवर किया गया है। इनकी जांच में पुलिस की पांच टीमों को लगाया गया है। जांच फिलहाल जारी है। वी.जे.चौधरी, थाना प्रभारी, सलाबतपुरा
पतंग के लिए भागते हुए वाहन की चपेट में आने से जान गई
मकर संक्रांति से पहले ही पतंग के कारण हादसों का सिलसिला शुरू हो गया है। शनिवार शाम कापोद्रा क्षेत्र में पतंग लूटने के लिए दौड़ते हुए वाहन की चपेट में आने से एक बच्चे की मौत हो गई। दो और हादसों में एक युवक मांझे से तो एक बच्चा वाहन की टक्कर से घायल हो गया।
न्यू सिविल अस्पताल से मिली जानकारी के अनुसार कापोद्रा निवासी छनु संगाड़ा का 11 साल का बेटा जिज्ञेश शनिवार शाम नाना वराछा फ्लाइओवर ब्रिज पर पतंग के लिए दौड़ रहा था। वह वहां से गुजर रही एक कार की चपेट में आ गया। गंभीर हालत में उसे निजी अस्पताल ले जाया गया, जहां उसे मृत घोषित कर दिया गया।
गोडादरा की गायत्री सोसायटी निवासी संजय रूपराव मांडवे (28) शनिवार को मोटर साइकिल पर कतारगाम से घर लौट रहा था। परवत पाटिया के पास मांझा गले में फंसने से उसका गला कट गया। उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया। एक दूसरे मामले में रविवार दोपहर कापोद्रा निवासी आशीष राजा राठौड़ (8) उत्राण-कापोद्रा ब्रिज पर पतंग के लिए दौड़ रहा था। वह वाहन की चपेट में आने से घायल हो गया। उसे स्मीमेर अस्पताल में भर्ती किया गया है।