scriptimp year for | अर्थव्यवस्था के लिए अहम हो सकता है 2023 का साल | Patrika News

अर्थव्यवस्था के लिए अहम हो सकता है 2023 का साल

locationसूरतPublished: Jan 08, 2023 01:56:44 pm

Submitted by:

pradeep joshi

सूरत में डायमंड बूर्स शुरू होने के बाद हीरा और जेवरात की एसोसिएट इंडस्ट्रीज में तेजी आएगी

होटल व ट्रांसपोर्ट जैसी सर्विस इंडस्ट्री और रियल एस्टेट में भी बूम देखने को मिल सकता है

ड्रीम सिटी प्रोजेक्ट के पूरा होने के साथ ही डायमंड व टैक्सटाइल इंडस्ट्री को भी आगे बढऩे में मदद मिलेगी

अर्थव्यवस्था के लिए अहम हो सकता है 2023 का साल
अर्थव्यवस्था के लिए अहम हो सकता है 2023 का साल
सूरत. नोटबंदी, जीएसटी और फिर कोरोना के कारण अर्थव्यवस्था बुरी तरह चरमराई हुई है। गुजरात की अर्थव्यवस्था के लिए वर्ष 202३ अहम हो सकता है। सूरत में डायमंड बूर्स शुरू होने के बाद हीरा और जेवरात की एसोसिएट इंडस्ट्रीज में तो तेजी आएगी ही, होटल व ट्रांसपोर्ट जैसी सर्विस इंडस्ट्री और रियल एस्टेट में भी बूम देखने को मिल सकता है। ड्रीम सिटी प्रोजेक्ट के पूरा होने के साथ ही डायमंड व टैक्सटाइल इंडस्ट्री को भी आगे बढऩे में मदद मिलेगी।
वर्ष 2022-23 में बुर्स बूस्टर डोज :
देशभर में पटरी से उतरी अर्थव्यवस्था के लिए सूरत के ड्रीम सिटी में तैयार हो रहा सूरत डायमंड बूर्स बूस्टर डोज साबित हो सकता है। इसका कार्य पूर्ण हो गया है। वर्ष 2023 में कारोबार गति पकड़ेगा। हीरा और जेवरात इंडस्ट्री का असर सर्विस इंडस्ट्री पर पहले दिखेगा। हीरा कारोबार के लिए दुनियाभर से आने वालों की आवभगत सर्विस इंडस्ट्री के जिम्मे रहेगी। इससे होटल उद्योग के साथ ही ट्रैवल्स उद्योग में लोगों को काम मिलेगा। मुम्बई की डायमंड इंडस्ट्री को भी सूरत डायमंड बूर्स के शुरू होने का इंतजार है। जो लोग मुम्बई में रहकर हीरा कारोबार कर रहे हैं, उन्होंने सूरत में भी नया ठिकाना खोजना शुरू कर दिया है।
0 रियल एस्टेट में फिर बूम :
वेसू क्षेत्र के विकसित होने के दौरान सूरत में उभरा रियल एस्टेट कारोबार कुछ बरसों से बैकफुट पर है। इसको भी बूस्ट मिलना तय है। सूरत डायमंड बूर्स से जुड़े सूत्रों के मुताबिक मुम्बई के कुछ व्यापारियों ने सूरत में अपने लिए फ्लैट्स देखने भी शुरू कर दिए हैं।
टैक्सटाइल को भी बड़ी उम्मीद :
डायमंड बूर्स में डॉमेस्टिक टूरिज्म को प्रमोट करने के लिए डायमंड एंड ज्वेलरी का एक म्यूजियम सेक्शन बनेगा। यहां आकर लोग हीरे तराशने और गढऩे की बारीकियों के साथ हीरे के इतिहास से भी वाकिफ होंगे। सॉविनियर के रूप में लोग यहां से हीरा-जेवरात की खरीद कर सकेंगे। इसके साथ ही बाहर के कारोबारी और टूरिस्ट को सूरत के कपड़े का आकर्षण भी अपनी ओर खींचेगा। जानकारों का मानना है कि सॉविनियर के रूप में होने वाली खरीद सूरत के कपड़ा बाजार को गति देने में सहायक साबित होगी।
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