नया शिक्षा सत्र शुरू होने के बाद से फीस को लेकर निजी स्कूलों के प्रबंधन और अभिभावकों में ठनी हुई है। इस दौरान मामला उच्च न्यायालय में भी पहुंचा और अंत में राज्य सरकार ने निजी स्कूलों के संचालकों को सिर्फ ट्यूशन फीस वसूलने और उसमे भी 25 फीसदी राहत देने का आदेश दिया, लेकिन अभिभावकों का आरोप है कि निजी स्कूलों की ओर से ट्यूशन फीस के साथ ही किसी न किसी बहाने अतिरिक्त फीस मांगी जा रही है। स्कूलों की मनमानी से परेशान अभिभावकों ने सोमवार को स्टूडेंट एंड पैरेंट्स वेलफेयर एसोसिएशन के बैनर तले एफआरसी और जिला कलेक्टर कार्यालय के बाहर बैनर के साथ विरोध प्रदर्शन किया और ज्ञापन सौंप कर मनमानी करने वाले स्कूलों के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की।