शहर में आकस्मिक दुर्घटनाओं में घायल हुए लोगों को तुरंत इलाज मिले इसके लिए राज्य सरकार द्वारा नि:शुल्क 108 एम्बुलेंस की सेवा चलाई जा रही है। शहर का विस्तार काफी बड़ा होने के कारण पुलिस थानों का कार्य न्यू सिविल और स्मीमेर अस्पताल के बीच विभाजित किया गया है। उमरा, खटोदरा, अठवा, रांदेर, अडाजन समेत 12-13 पुलिस थाना क्षेत्रों के मरीजों को न्यू सिविल तथा उधना, लिंबायत, सलाबतपुरा, पुणा, वराछा समेत अन्य थाना क्षेत्रों के मरीजों को स्मीमेर अस्पताल ले जाया जाता है।
ट्रॉमा सेंटर के चीफ मेडिकल ऑफिसरों की शिकायत है कि 108 एम्बुलेंस में मरीजों को स्थल से उठाने और अस्पताल लाने के दौरान बीच में एम्बुलेंस में मरीज को जरूरी इलाज नहीं दिया जाता है। वहीं, अज्ञात, लावारिस मरीजों को स्मीमेर अस्पताल से डॉक्टर रुपए भरने का डर बताकर न्यू सिविल भिजवा देते हैं। 108 एम्बुलेंस और न्यू सिविल अधीक्षक के बीच में इसी महीने 10 तारीख को बैठक हुई थी। सीएमओ ने बताया कि स्मीमेर अस्पताल से कई बार शवों को पोस्टमार्टम के लिए सिविल भेजा जाता है। इससे परिजनों को काफी परेशानी होती है। सीएमओ ने अस्पताल अधीक्षक डॉ. गणेश गोवेकर को आवेदन देकर 108 एम्बुलेंस में गंभीर मरीजों को एम्बुलेंस में प्राथमिक उपचार मुहैया करवाने की मांग की है। इससे अस्पताल पहुंचने के बाद मरीज के आगे का ट्रीटमेंट जल्दी शुरू हो सकता है।
‘परिवार के लोगों के अनुसार ले जाना पड़ता है’ दूसरी तरफ, शहर में 108 एम्बुलेंस के प्रोग्राम मैनेजर फैयाज पठान ने बताया कि परिवार के लोग जहां बोलते हैं, ईएमटी व पायलट मरीज को उसी अस्पताल लेकर जाते हैं। गौरतलब है कि न्यू सिविल और स्मीमेर के बीच मरीजों को भर्ती करने तथा एक दूसरे के यहां रेफर करने को लेकर कई बार विवाद सामने आते रहते हैं। लेकिन अब न्यू सिविल के सीएमओ ने 108 एम्बुलेंस में मरीजों को प्राथमिक उपचार का मुद्दा उठाकर अधीक्षक से कार्रवाई की मांग की है।
आरोप : कैनुला भी नहीं लगाते ईएमटी कर्मचारी! एक डॉक्टर ने बताया कि इमरजेंसी मरीजों को आइवी लाइन मेंटेन करने के लिए कैनुला लगाना होता है, लेकिन 108 एम्बुलेंस ईएमटी कैनुला बिना लगाए मरीज को ट्रॉमा सेंटर ले आते हैं। दुर्घटना और बीमार मरीजों को फ्ल्युड चढ़ाने की भी जेहमत नहीं उठाई जाती है। गंभीर मरीजों को तुरंत यह सब करने से उसकी जान बच सकती है। अस्पताल पहुंचने पर आगे उसका ट्रीटमेंट फटाफट शुरू हो सकता है।
108 एम्बुलेंस सेवा में मौजूदा कमियां दूर होगी सीएमओ ने 108 एम्बुलेंस की समस्या बताई है। शहर के सभी मरीजों को न्यू सिविल लाने से रोकने के लिए 108 एम्बुलेंस के शहर कंट्रोल से बैठक की थी। इसमें उन्होंने स्मीमेर से मरीजों को सिविल भेजने की बात स्वीकार की थी, लेकिन अब तक उस पर कोई कार्रवाई नहीं हुई है। अगर ऐसा ही चलता रहा तो मनपा आयुक्त और अहमदाबाद 108 कंट्रोल को जानकारी भेजेंगे।
– डॉ. गणेश गोवेकर, अधीक्षक, न्यू सिविल अस्पताल, सूरत।