होली पर गांव जाने वाले लोगों की संख्या अधिक होती है। इस दौरान शहर में इ-टिकट का कारोबार करने वाले एजेंट सक्रिय हो जाते हैं। दीपावली अवकाश के समय आरक्षित टिकटों की कालाबाजारी रोकने के लिए पश्चिम रेलवे ने अलग से टास्क फोर्स का गठन किया था।
सूरत रेलवे सुरक्षा बल की अपराध शाखा के निरीक्षक अरुण कुमार सिंह को सूचना मिली थी कि पांडेसरा के उन क्षेत्र में मोबाइल की दुकान से इ-टिकटों की कालाबाजारी हो रही है। सूचना के आधार पर कांस्टेबल मुकेश सिंह ने टीम के साथ पांडेसरा उन दरबारनगर में प्लेटिनम प्लाजा के सामने बिस्मिल्ला टूर एंड ट्रैवल्स नाम की दुकान में छापे की कार्रवाई की। दुकान से असद अमजद कापडिया (19) को 22 इ-टिकटों के साथ गिरफ्तार किया गया। बरामद टिकटों में 7 पर यात्रा बाकी है।
इसके अलावा निजी आइडी-पासवर्ड, विजिटिंग कार्ड, लेपटॉप समेत अन्य सामग्री भी बरामद की गई। उसने बरामद इ-टिकट उसके ग्राहकों के होने की जानकारी दी है। उसके पास आइआरसीटीसी का लाइसेंस भी मिला है। वह ग्राहकों से प्रति नाम 50 से 100 रुपए कमीशन लेकर टिकट बेचता था। उसके खिलाफ रेल अधिनियम की धारा 143 (1) के तहत मामला दर्ज कर जांच उधना रेलवे सुरक्षा बल थाने को सौंपी गई है।
सॉफ्टवेयर का धड़ल्ले से इस्तेमाल इ-टिकट के धंधे से जुड़े एजेंट अपने कंप्यूटर या लेपटॉप पर सॉफ्टवेयर का उपयोग कर अधिक संख्या में टिकटों की बुकिंग करते हैं। हाल ही मुम्बई विजिलेंस विभाग की कार्रवाई में तन्नू किराना एंड मोबाइल शॉप से एक सॉफ्टवेयर रेड मिर्ची बरामद हुआ था। रेल अधिकारियों ने बताया कि इस सॉफ्टवेयर की मदद से कम समय में अधिक टिकटों की बुकिंग हो जाती है।
मुम्बई में भी एक एजेंट सॉफ्टवेयर की मदद से इ-टिकटों की कालाबाजारी करते हुए पकड़ा गया है। ऐसे सॉफ्टवेयर डिजिटल प्लेटफॉर्म पर उपलब्ध हैं। सम्पर्क करने पर अज्ञात व्यक्ति कुछ रुपए डिपोजिट लेकर एजेंट के कंप्यूटर में सॉफ्टवेयर डाउनलोड कर देता है।
मार्च में पकड़े गए मामले – उधना में तन्नू किराना एंड मोबाइल शॉप पर छापे की कार्रवाई कर वशिष्ठ कुमार सिंह चन्द्रभान सिंह (34) को ६.५३ लाख रुपए के २१३ इ-टिकटों के साथ गिरफ्तार किया गया।
– वापी के छीरी कोपरली रोड पर कंचननगर में राजेश्वरी एंड संस मोबाइल शॉप पर छापे की कार्रवाई कर सोमाराम हेमाराम चौधरी को ११ हजार २०० रुपए के ९ इ-टिकटों के साथ गिरफ्तार किया गया।