scriptsurat news-देश को करोड़ो का नुकसान पहुंचा रहे हैं ये घोटालेबाज… | surat news-These scammers are causing loss of crores to the country | Patrika News

surat news-देश को करोड़ो का नुकसान पहुंचा रहे हैं ये घोटालेबाज…

locationसूरतPublished: Sep 07, 2019 07:38:28 pm

Submitted by:

Pradeep Mishra

हजारो करोड रुपए के आइटीसी क्रेडिट मामले में रिकवरी टेढी खीरकरोड़ो रुपए के घोटाले के बाद भी नियम की कमियों का लाभ उठा कर बच जाते हैं घोटाले बाज

surat news-देश को करोड़ो का नुकसान पहुंचा रहे हैं ये घोटालेबाज...

surat news-देश को करोड़ो का नुकसान पहुंचा रहे हैं ये घोटालेबाज…

सूरत
इसे सरकार की कमजोर नीतियां कहें या देश का दुर्भाग्य? रोटी की चोरी करने वाले को भी जेल की सलाखों के पीछे भेज दिया जाता है, लेकिन यहां करोड़ो रुपए की टैक्स चोरी करने वाले सरकार की कमजोर नीतियों तो लाभ लेकर बेदाग बच जाते हैं।
केन्द्र सरकार की ओर से जुलाई-17 में पूरे देश को एक कर प्रणाली में बांधने के लिए टैक्स स्ट्रक्चर में सरलता के लिए वन नेशन वन टैक्स-जीएसटी का नियम अमल में लाया गया। इस नियम के कारण कई चीेजें सरल हो गई है। लोगों को हर राज्य में अलग-अलग टैक्स के स्लैब से परेशान नहीं होना पड़ रहा, लेकिन इसके साथ ही इस कर प्रणाली ने सरकार के लिए नई समस्या पैदा कर दी है। इस व्यवस्था में इनपुट टैक्स क्रेडिट रिफंड करने की व्यवस्था का कुछ लोग बेजालाभ उठा रहे हैं। वह बिना बिसी किसी प्रकार की खरीद बिक्री किए ही बिला बना कर बेच देते हैं। यह फर्जी बिल बेचने के अवेज में उन्हें एक- दो प्रतिशत कमिशन मिलता है। इनसे फर्जी बिल खरीदने वाले कम कीमत पर बिल खरीदने के बाद सरकार से इनपुट टैक्स क्रेडिट रिफंड क्लैम कर हासिल कर लेते हैं। यह सब कुछ हो जाने के बाद जब यह जीएसटी रिटर्न फाइल करते हैं या अन्य किसी कारणों से ट्रेस होते हैं तब इनकी जांच शुरू की जाती है, तब तक तो बिल बेचने वाला और बिल खरीदने वाले दोनों ही फरार हो जाते हैं। डिपार्टमेन्ट फिर अपने प्रयास शुरू करता है और जिस पेढी के नाम से बिल इश्यू किए गए थे उनकी जांच करता है, लेकिन वहां पहुंचने पर भी कुछ नहीं मिलता। क्योंकि घोटालेबाजों ने पहले से ही किसी श्रमिक, चौकीदार या देहाडी करने वाले को कुछ पैसे देने की लालच में उससे पैनकार्ड और आधार कार्ड लेकर फर्म बनाई होती है। जब अधिकारी उनसे पूछताछ करते हैं तब उन्हें इस घोटाले की जानकारी होती है। कई बार तो विभाग के पास सारी जानकारी होते हुए भी जांच के समय कोई मौजूद नहीं मिलता। यदि कैसे भी विभाग बिल बेचने वाले को पकड़ भी लेता है तो वह कोर्ट में जाकर उसके नाम पर कोई फर्म नहीं होने की दुहाई देकर छूट जाते हैं। देशभर में हर रोज इनपुट टैक्स क्रेडिट घोटाले के कई मामले दर्ज हो रहे हैं, लेकिन सभी मामलों में अधिकारियों को इन्हीं समस्या से जूझना पड़ रहा है। हाल में ही सीजीएसटी, डीजीसीआई और एसजीएसटी ने कई मामलों में कुछ लोगों को गिरफ्तार किया है, लेकिन बताया जा रहा है कि यह तो सिर्फ प्यादे हैं। इनके नाम पर हजारो करोड़ रुपए के घोटाले का आरोप है, लेकिन इनमें से कोई किराए के मकान में रहता है तो कोई कपड़ा दलाल है। इनके पास विभाग को लाख रुपए भी मिलना मुश्किल है। ऐसे में करोडो की रिकवरी तो दूर की बात है। खैर विभाग अपने प्रयास कर रहा है और आगे तक जाने की कोशिश में है।
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