यह टीम के पहले चरण की कार्रवाई है। पहले दिन सस्टेनेबल कंसलटेशन की बैठक होगी, जिसमें शहर के सार्वजनिक परिवहन, डेटा कलेक्शन समेत अन्य मुद्दों पर चर्चा होगी। इस बैठक में स्थानीय प्रशासनिक मशीनरी के साथ ही यूनिस्केप के प्रतिनिधियों के साथ ही केंद्र सरकार के शहरी विकास विभाग के प्रतिनिधि मौजूद रहेंगे।
इसके अलावा यह टीम बीआरटीएस बस डिपो, वर्कशॉप, बीआरटीएस बस शेल्टरों में आईटीएमएस और एफसीएस को समझने के साथ ही स्मैक सेंटर भी जाएगी। यूनिस्केप के दौरे से पहले मंगलवार शाम आयुक्त एम थेन्नारसन ने अधिकारियों के साथ बैठक कर प्रजेंटेशन की तैयारियों पर चर्चा की।
जीएसटी वेबसाइट पर फिर खुलेगी विन्डो जीएसटी काउंसिल ने वैट और सर्विस टैक्स में माइग्रेशन नहीं कर सकने वाले व्यापारियों को एक और मौका देने का फैसला किया है। ऐसे व्यापारियों के लिए जीएसटी की वेबसाइट पर फिर विन्डो खोला जाएगा। जीएसटी पर अमल से छह महीने पहले वैट, सर्विस टैक्स तथा एक्साइज के करदाताओं को माइग्रेशन नंबर देने की शुरुआत की गई थी। व्यापारियो को ऑनलाइन फॉर्म का पार्ट-1 भरकर कामचलाऊ टिन नंबर लेना होता था और बाद में 60 दिन के अंदर पार्ट-2 भरकर स्थाई नंबर ले सकते थे। अज्ञानतावश कई व्यापारियों ने कामचलाऊ नंबर लेने के बाद स्थाई नंबर नहीं लिया। बाद में विन्डो बंद हो जाने से उन्हें जीएसटी नंबर नहीं मिला। अब वह रिटर्न फाइल कर पाने में असमर्थ हैं। देशभर में ऐसे व्यापारियों की संख्या 80 हजार हैं। इनमें सूरत के 1500 समेत गुजरात के 10 हजार व्यापारी शामिल हैं। व्यापारियों की बड़ी संख्या को देखते हुए जीएसटी काउंसिल ने फिर से विन्डो ओपन करने का फैसला किया है। इसके माध्यम से व्यापारी स्थाई नंबर प्राप्त कर रिटर्न फाइल कर सकेंगे।