कई जगहों पर केसी का हुआ था विरोध
डांग, वांसदा और कपराड़ा के आदिवासी पट्टी कई गांवों मे केसी पटेल का चुनाव प्रचार के दौरान विरोध भी हुआ था। इसे देखते हुए कांग्रेस को इन विस्तारों से अच्छी खासी लीड की उम्मीद थी। लेकिन भाजपा ने समय पर आदिवासी समेत बड़े नेताओं को उतारकर लोगों की नाराजगी दूर की। जबकि कंाग्रेस इसी मुगालते में रह गई कि भाजपा प्रत्याशी की नाराजगी का लाभ उसे वोट के तौर मिलेगा। स्थानीय राजनीति पर नजर रखने वालों के अनुसार कांग्रेस प्रत्याशी और कार्यकर्ताओं ने इस नाराजगी को भुनाने के लिए जोर नहीं लगाया, जबकि भाजपा ने समय रहते डैमेज कंट्रोल कर स्थिति सुधारने के साथ मजबूत भी कर ली।
डांग, वांसदा और कपराड़ा के आदिवासी पट्टी कई गांवों मे केसी पटेल का चुनाव प्रचार के दौरान विरोध भी हुआ था। इसे देखते हुए कांग्रेस को इन विस्तारों से अच्छी खासी लीड की उम्मीद थी। लेकिन भाजपा ने समय पर आदिवासी समेत बड़े नेताओं को उतारकर लोगों की नाराजगी दूर की। जबकि कंाग्रेस इसी मुगालते में रह गई कि भाजपा प्रत्याशी की नाराजगी का लाभ उसे वोट के तौर मिलेगा। स्थानीय राजनीति पर नजर रखने वालों के अनुसार कांग्रेस प्रत्याशी और कार्यकर्ताओं ने इस नाराजगी को भुनाने के लिए जोर नहीं लगाया, जबकि भाजपा ने समय रहते डैमेज कंट्रोल कर स्थिति सुधारने के साथ मजबूत भी कर ली।