यह मंदिर केरल की राजधानी तिरुवनंतपुरम से लगभग 175 किलो मीटर दूर पश्चिमी घाट की पर्वत श्रंखलाओं पर घने जंगलों के बीच स्थित है। इस मंदिर को सबरीमाला मंदिर के नाम से जाना जाता है। इस मंदिर को विश्व का दूसरा सबसे बड़ा तीर्थ स्थल माना जाता है।
15 वर्ष से कम उम्र की लड़कियां कर सकती हैं प्रवेश सबरीमाला का मंदिर भगवान अयप्पा को समर्पित है। भगवान अयप्पा ब्रम्हचारी थे। यही कारण है कि इस मंदिर में 15 वर्ष से कम उम्र की लड़कियां और वृद्ध महिलाएं ही यहां आ सकती हैं। अन्य महिलाओं का इस मंदिर में प्रवेश वर्जित है।
क्या है मान्यताएं पौराणिक कथाओं के अनुसार, भगवान अयप्पा भगवान शिव और मोहनी के पुत्र हैं। मोहनी भगवान विष्णु का ही एक रूप है। यही कारण है कि भगवान अयप्पा को हरिहर पुत्र के नाम से भी जाना जाता है। हरी मतलब विष्णु और हर यानी भगवान शिव, इन्ही दोनों के संयोग से इनका नाम हरिहर पड़ा।