ऑपरेटर की जानकारी भी हुई दर्ज
जिले में खरीफ की फसल पंजीयन के लिए 80 केंद्र बनाए गए है। जिसमें ऑपरेटरों द्वारा किसानों की उपज का पंजीयन किया जा रहा है। इसके साथ ही वह पंजीयन पोर्टल पर दर्ज करने के आदेश शासन संबंधित विभाग को दिए है। इसके बाद भी किसानों को योजना का लाभ देने में लापरवाही की जा रही है।
इन जगहों पर किसानों को हो रही परेशानी
भावांतर योजना में पंजीयन कराने के लिए बडागांव खुर्द सहकारी, मवई सहकारी समिति, मजना ,बल्देवगढ़, डारगुवा, तालमऊ, बुडेरा, अचर्रा सहित कई सहकारी समितियों पर किसानों को परेशान होना पड़ रहा है।
नहीं की जारही पंजीयन केंद्र पर निगरानी
जिले के पंजीयन केंद्रोंं पर समिति संचालक, ऑपरेटर और एक विभाग का कर्मचारी रहने और उनकी निगरानी में किसानों के पंजीयन किए जाएगें। इसके साथ ही आदेश में कहा कि अगर उनके द्वारा किसी भी तरह की किसानों के पंजीयन और खसरा में लापरवाही की जाती है तो कार्रवाई की जाएगी। लेकिन पंजीयन केंद्र में न तो जिम्मेदारों द्वारा निगरानी की जा रही और न ही लापरवाहों पर कार्रवाई।
इनका कहना
जिले में सर्वर धीमा चलने के कारण पंजीयन में रूकावट पैदा हो रही है। इसके साथ ही अगर ऑपरेटर और समिति प्रबंधक द्वारा किसानों के कार्यो में लापरवाही की जा रही है तो जांच कर कार्रवाई की जाएगी।
राजेश तिवारी प्रभारी खाद अधिकारी टीकमगढ़।