टीकमगढ़. प्रदेश के जिला पंचायतों और जनपदों में मनरेगा योजना के तहत वर्षो से एक स्थान पर तैनात संविदा कर्मियों को स्थानांतरित किया जा सकेगा। विभाग के अपर मुख्य सचिव राधेश्याम जुलानियां के निर्देश पर प्रदेश के सभी कलेक्टरों को आदेश जारी किए गए हैं।
मप्र राज्य रोजगार गांरटी परिषद की आयुक्त जी व्ही रश्मि ने आदेश में बताया कि वर्षो से एक स्थान पर रहने के कारण मनरेगा कर्मचारियों की कार्य क्षमता प्रभावित हुई हैं। आदेश में प्रदेश की सभी जनपदों में 3 वर्ष से अधिक संविदा के रू प में सेवा देने वालों को जिले के अंदर एक जनपद से दूसरे जनपद में भेजा जा सकेेगा। इसके साथ ही लेखापाल और डाटा एन्ट्री ऑपरेटर के 3 वर्ष पूरा होने पर उन्हें जनपदों के अलावा जिला पंचायत में भी स्थानांतरित किया जाएगा।
1 अप्रैल 2005 से रोजगार गारंटी योजना के शुरू होने के साथ ही जिले की 6 जनपदों में कई कर्मचारी अपनी सेवाएं दे रहे है। उपयंत्री, सहायक यंत्री जैसे फील्ड में काम करने वाले कर्मचारियों पर निर्माण कार्यो में धांधली के आरोप लगने के बावजूद वर्षो से उन्हीं जनपदों में डटे रहने से योजनाएं प्रभावित हो रही है।
जिला पंचायत सीईओ अजय कटेसरिया का कहना था कि अपर मुख्य सचिव के निर्देश पर मनरेगा में ट्रांसफर के आदेश जारी हुए है। जिले की सभी जनपदों के ऐसे कर्मचारियों की सूची बनाई जा रही है। योजना में प्रगति न करने वालों और लापरवाह अधिकारी,कर्मचारियों को स्थानांतरित किया जाएगा।