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जानिए टीकमगढ़ में कब होगी बारिश, पिछले 10 वर्ष में कैसा रहा है मानसून

locationटीकमगढ़Published: Jun 09, 2019 08:57:44 pm

Submitted by:

anil rawat

गर्मी से झुलस रहे लोगों को अभी और गर्मी सहन करनी होगी। इस बार भी मानसून जून के आखिरी सप्ताह में जिले में दस्तक देगा

Heavy humidity will be tolerated before monsoon

Heavy humidity will be tolerated before monsoon

टीकमगढ़. गर्मी से झुलस रहे लोगों को अभी और गर्मी सहन करनी होगी। इस बार भी मानसून जून के आखिरी सप्ताह में जिले में दस्तक देगा। मौसम विज्ञान केन्द्र ने 23 जून तक जिले में मानसून आने की संभावना जाहिर की हंै। मानसून आने में जहां एक-दो दिन आगे पीछे हो सकता हैं, वहीं लोगों को 20 जून के आसपास से तेज उमस का भी सामना करना होगा।


इस वर्ष जून का माह लोगों को राहत देता नही दिखाई दे रहा हैं। पिछले एक पखवाड़े से भीषण गर्मी से परेशान लोग बारिश के आगमन का इंतजार कर रहे है, ऐसे में मौसम विभाग ने अभी एक पखवाड़ा और बारिश का इंतजार करने की बात कहीं हैं। कृषि महाविद्यालय के मौसम विज्ञान केन्द्र ने मानसून की संभावना जाहिर कर दी है। बंगाल की खाड़ी से शुरू हो चुके मानसून ने केरल के आसपास के क्षेत्र में अपनी दस्तक दे दी है और यह धीरे-धीरे आगे बढ़ रहा हैं। मौसम विज्ञान केन्द्र ने इस मानसून के 23 जून के आसपास जिले में दस्तक देने की संभावना जताई हंै। मौसम वैज्ञानिक डॉ एके श्रीवास्तव का कहना हैं कि मानूसन की चाल के कारण जिले तक आने में यह एक-दो दिन आगे पीछे हो सकता हैं। मानसून के आगमन के साथ ही पहले तीन-चार दिन अच्छी बारिश की संभावना जताई जा रही हंै। डॉ श्रीवास्तव का हैं कि इस दौरान लगभग 100 मिमी बारिश होगी।

 

 

बड़ेगी उमस: मानसून के पूर्व लोगों को भीषण उमस का सामना करना पड़ेगा। मानसून की आमद के पांच दिन पूर्व मौसम में आद्रता बड़ जाएगी। इसके 50 प्रतिशत पर पहुंचने की संभावना हैं। ऐसे में लोगों को जमकर उमस का सामना करना पड़ेगा। मौसम विभाग ने मानसून के पूर्व प्री-मानसून बारिश की संभावना भी जाहिर की हैं। वहीं मौसम विभाग ने 23 जून से आने वाले मानसून के पहले तीन-चार दिन में होने वाली 100 मिमी बारिश को देखते हुए किसानों से भी अपनी खरीफ फसल के अनुरूप खेतों को तैयार करने की सलाह दी हैं।

20 जून के बाद ही सक्रिय होता है मानसून: मौसम विज्ञान केन्द्र से प्राप्त आंकड़े बताते हैं कि जिले में अधिकांशत: 20 जून के बाद ही मानसून सक्रिय होता हैं। पिछले 10 वर्ष के मानसून की रिकार्ड पर नजर डाले तो केवल 2013 में ही मानसून ने 15 जून को जिले में दस्तक दी थी। इसके अलावा हर वर्ष मानसून 20 जून के बाद ही जिले में सक्रिय हुआ हैं। इस बार भी यह 23 जून को जिले में प्रवेश करेगा।

20 जून के पहले का मानसून करता है झमाझमा: जिले में अधिकांश समय मानसून 20 जून के बाद ही सक्रिय होता हैं। लेकिन जब भी मानसून 20 जून के पहले जिले में सक्रिय हुआ हैं, उस वर्ष अच्छी बारिश दर्ज की गई हैं। मौसम विज्ञान केन्द्र के पिछले 32 वर्ष के आंकड़ों पर नजर डाले तो यह साफ हो जाता हैं। पिछले 32 वर्षों में 8 वर्षों में मानसून ने 20 जून के पहले जिले में दस्तक दी हैं। इसमें 4 वर्ष रिकार्ड तोड़ बारिश हुई है। वर्ष 1990 में मानसून 20 जून को सक्रिय हुआ था और जिले में 1363 मिमी बारिश दर्ज की गई थी। ऐसे ही 2008 में 12 जून से मानसून आया और 1389 मिमी बारिश हुई। 2011 में 10 जून से बारिश शुरू हुई और 1511.1 मिली एवं 2013 में 15 जून को मानसून आने पर 1372 मिमी बारिश दर्ज हुई। वहीं 20 जून के बाद सक्रिय होने वाले मानसून में पिछले 32 वर्षों में महज 3 बार ही औसत बारिश(1000.2 मिमी) से अधिक बारिश दर्ज की गई हंै। यह बारिश भी मूसलाधार न होकर औसत बारिश के आसपास ही रिकार्ड की गई हंै।


10 वर्षों में 5 साल रहे सूखे: पिछले 10 वर्ष की बारिश पर नजर डाले तो जिले को 5 साल सूखे में गुजारने पड़े है। वर्ष 2009, 2010, 2014, 2015 एवं 2017 में तो औसत बारिश से आधी बारिश ही दर्ज की गई हैं। वहीं 2014 से 2017 तक का पूरा समय ही लगातार सूखे का रहा हैं। पिछले वर्ष ही जिले में औसत बारिश का लक्ष्य प्राप्त होने से इस बार लोगों को गर्मियों में राहत मिली हैं।

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